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भभभभ भभभभभ भभभभभ भभभ भभभ भभभभभ भभभभभभभभ भभभभभभभ भभभ भभभभ भभभभभ भभभभभभभ भभभ भभभभभभभ भभ भभभ भभभभभभभभ भभभभभभभ भभ भभभभ भभभभ भभभभ (2015)

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भारत सरकारमहिला एवं बाल हिवकास मंत्रालय

स्‍वाधार गृ

कठि�न परिरस्‍थिस्‍�हितयों में महिलाओं के लिलए प्रा�मिमक जरूरतों‍को पूरा करने ेतु योजना

(2015)

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स्‍वाधार गृ

क-पृष्‍�भमूिम

शोषण से महिलाओं की रक्षा और उनके शेष जीवन में आश्रय व पुनवा�स के लिलए, तत्‍कालीन समाज कल्‍याण हिवभाग द्वारा‍वष� 1969 में, सामाजिजक सुरक्षा पद्धहित के तौर पर महिलाओं और बालिलकाओं के लिलए एक 'अल्‍पावास गृ' स्‍कीम आरंभ की गई थी ।‍इस स्‍कीम का उदे्दश्‍य पारिरवारिरक कल या अनबन, अपराध, हिंसा, मानलिसक तनाव, सामाजिजक बहिष्‍कार, वैश्‍यावृत्‍तित्‍त की ओर‍बलपूव�क धकेले जाने और नैहितक खतरों के कारण बेघर हुई महिलाओं या बालिलकाओं को अस्‍थायी आवास, अनुरक्षण गुजारा-रालिश‍और समान उदे्दश्‍यों वाली पुनवा�स जैसी सेवाए ंप्रदान करना ै । दुस्‍साध्‍य परिरस्‍थिस्‍थहितयों से घिघरी हुई महिलाओं के लिलए स्‍वाधार नामक‍एक अन्‍य स्‍कीम, वष� 2001-02 में शुरू की गई थी । इस स्‍कीम का लक्ष्‍य, कठिLन परिरस्‍थिस्‍थहितयों से घिघरी हुई महिलाओं को आश्रय, भोजन, वस्‍त्र, परामश�, प्रलिशक्षण स्‍वास्‍थ्‍य से संबंघिधत तथा कानून से संबंघिधत सायता प्रदान करते हुए उन्‍ें पुनव्‍यवस्‍थाहिपत करना ै ।‍हिवपणन अनुसंधान एवं सामाजिजक हिवकास कें द्र नई ठिदल्‍ली द्वारा दोनों स्‍कीमों के काय� हिनष्‍पादन का आकलन करने के लिलए वष� 2007 में‍मूल्‍यांकन हिकया गया । मंत्रणा परामश� (काउंलिसलिलंग) एवं पुनवा�स के लिलए इन स्‍कीमों के अंतग�त अपनाए गए उपायों को सकारात्‍मक‍प्रभावों का मूल्‍यांकन रिरपोर्ट� में उल्‍लेख करते समय पाया गया हिक हिनवालिसयों के हिववरण व शे्रणिणयां, प्रवेश प्रहिTया, काउंलिसलिलंग, सेवा की‍गुणता, व्‍यावसाघियक प्रलिशक्षण पुनव�सन तथा अनुवतU कार�वाई संबंधी पद्धहितयां दोनों स्‍कीमों में लगभग एक समान ैं। अत: न्‍यून‍प्रशासहिनक दबावों और प्रहिTयाओं के साथ बेतर काय�-प्रहिTया और परिरणामों के लिलए, इन दोनों स्‍कीमों का हिवलय करने की लिसफारिरश‍की जाती ै। य भी लिसफारिरश की जाती ै हिक नई स्‍कीम के अंतग�त, प्रत्‍येक‍जिजलों‍में‍कम‍से‍कम‍एक‍ऐसा‍ी‍अल्‍प‍आवास-गृ‍स्‍थाहिपत‍करने‍पर‍बल‍ठिदया‍जाए‍।

इस‍मूल्‍यांकन‍अध्‍ययन‍के‍सकारात्‍मक‍हिनष्‍कषY‍से‍इस‍मंत्रालय‍को‍इस‍नई‍स्‍कीम‍का‍प्रस्‍ताव‍करने‍के‍लिलए‍प्रोत्‍साहित‍हिकया‍ै‍जिजसका‍लक्ष्‍य‍दुभा�ग्‍यपूण�‍परिरस्‍थिस्‍थहितयों‍की‍लिशकार‍उन‍महिलाओं‍को‍पुनवा�स‍के‍लिलए‍सांस्‍थाहिनक‍सायता‍प्रदान‍करना‍ै‍ताहिक‍वे‍अपना‍जीवन‍मान-मया�दा‍से‍जी‍सकें ‍।‍

ख‍ ‍-‍‍हिवज़न‍‍ ‍

इस‍योजना‍में‍दुस्‍साध्‍य‍परिरस्‍थिस्‍थहितयों‍की‍लिशकार‍महिलाओं‍के‍लिलए, सायक‍सांस्‍थाहिनक‍संरचना‍की‍संकल्‍पना‍की‍गई‍ै‍ताहिक‍वे‍सम्‍मानपूव�क‍एवं‍हिवश्‍वासपूव�क‍अपना‍जीवन‍यापन‍कर‍सकें ‍।‍इसमें‍महिलाओं‍के‍लिलए‍आश्रय, भोजन, वस्‍त्र‍एवं‍स्‍वास्‍थ्‍य‍तथा‍आर्थिथंक‍व‍सामाजिजक‍सुरक्षा‍की‍संकल्‍पना‍की‍गई‍ै‍।‍इसमें‍य‍ख्‍याल‍रखा‍गया‍हिक‍महिलाओं‍के‍लिलए‍हिवशेष‍आवश्‍यकताओं‍का‍ध्‍यान‍रखा‍जाए‍तथा‍उन्‍ें‍हिकसी‍भी‍स्‍थिस्‍थहित‍में‍अकेला‍या‍बेसारा‍न‍छोड़ा‍जाए‍जो‍उनके‍शोषण‍और‍बरबादी‍का‍कारण‍बन‍जाए‍।‍

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ग. उदे्दश्‍य‍:

इस‍योजना‍के‍अंतग�त, प्रत्‍येक‍जिजला‍म ें‍30 महिलाओं‍की‍क्षमता‍वाले‍स्‍वाधार‍गृ, स्‍थाहिपत‍हिकए‍जाएगंे‍जिजसके‍हिनम्‍नलिलखिखत‍उदे्दश्‍य‍ोंगे‍:-

(क) हिबना‍हिकसी‍सामाजिजक‍और‍आर्थिथंक‍सायता‍वाली‍व्‍यलिथत‍महिलाओं‍को‍आश्रय, भोजन, वस्‍त्र‍स्‍वास्‍थ्‍य‍लिचहिकत्‍सा‍संबंधी‍मांग‍पूरा‍करना‍।

(ख) उन‍दुभा�ग्‍यपूण�‍परिरस्‍थिस्‍थहितयों‍की‍लिशकार‍‍एवं‍व्‍यलिथत‍महिलाओं‍में‍उनके‍भावनात्‍मक‍मनोबल‍को‍सुदृढ़‍कर‍उन्‍ें‍समथ�‍बनाना।‍(ग) परिरवार/समाज‍में‍स्‍वयं‍को‍पुन: अवस्‍थिस्‍थत‍करने‍के‍योग्‍य‍बनाने‍के‍लिलए‍उन्‍ें‍कानूनी‍सायता‍और‍माग�दश�न‍प्रदान‍करना‍।‍(घ) आर्थिथंक‍एवं‍भावनात्‍मक‍दृखिष्‍र्टकोण‍पुन:स्‍थाहिपत‍करना।‍(ड.) व्‍यलिथत‍महिलाओं‍की‍हिवणिभन्‍न‍आवश्‍यकताओं‍को‍समझने‍और‍उन्‍ें‍पूरा‍करने‍के‍लिलए‍सायक‍तंत्र‍के‍रूप‍में‍काम‍करना‍।‍(च) सम्‍मान‍एवं‍हिवश्‍वासपूव�क‍नए‍लिसरे‍से‍जीवन‍आरंभ‍करने‍के‍योग्‍य‍बनाना‍।‍

बड़े‍शरों‍और‍40 लाख‍से‍अघिधक‍आबादी‍वाले‍अन्‍य‍जिजलों‍या‍उन‍जिजलों‍में‍जिजनमें‍महिलाओं‍को‍अहितरिरक्‍त‍सायता‍की‍आवश्‍यकता‍ै, एक‍से‍अघिधक‍स्‍वाधार‍गृ‍स्‍थाहिपत‍हिकए‍जा‍सकते‍ैं‍।‍स्‍वाधार‍गृों‍की‍क्षमता, आकलन‍और‍अन्‍य‍मत्‍वपूण�‍मानदंडों‍के‍आधार‍पर‍50 से‍100 तक‍बढ़ाई‍जा‍सकती‍ै‍।

(घ) काय0नीहित‍

उपयु�क्‍त‍उदे्दश्‍यों‍की‍प्राप्‍तिi‍त‍हिनम्‍नलिलखिखत‍काय�नीहितयों‍के‍माध्‍यम‍से‍पूरी‍की‍जाएगी:

(क) भोजन, वस्‍त्र, लिचहिकत्‍सा‍सुहिवधाओं‍आठिद‍सहित‍अस्‍थायी‍आवास‍।‍(ख) ऐसी‍महिलाओं‍के‍आर्थिथंक‍पुन:स्‍थापन‍ेतु‍व्‍यावसाघियक‍और‍कौशल‍प्रलिशक्षण‍।‍‍‍(ग) काउंलिसलिलंग, जागरुकता‍में‍बढ़ोत्‍तरी‍तथा‍आचरण‍संबंधी‍प्रलिशक्षण‍।‍(घ) कानूनी‍सायता‍एवं‍माग�दश�न‍।‍(ड.) दूरभाष‍द्वारा‍काउंलिसलिलंग।‍

(ड.) लाभा�3‍: हिनम्‍न वगY से 18 वष� से अघिधक आयु की महिलाए ंइस योजना का लाभ प्राi‍त कर सकती ैं:-

(क) हिबना हिकसी आर्थिथंक एवं सामाजिजक सायता वाली परिरत्‍यक्‍त महिलाए ं। (ख) प्राकृहितक‍आपदा‍के‍पश्‍चात‍बेघर‍हुई‍‍महिलाए‍ंजिजन्‍ें‍कोई‍सामाजिजक‍अथवा‍आर्थिथंक‍सायता‍या‍सयोग‍प्राi‍त‍नीं‍ै‍।‍(ग) जेल‍से‍रिरा‍की‍गई‍ऐसी‍महिलाए‍ंजिजनका‍कोई‍परिरवार‍नीं‍ै‍तथा‍जो‍सामाजिजक‍एवं‍आर्थिथंक‍रूप‍से‍असाय‍ों।‍(घ) घरेलू‍हिंसा, पारिरवारिरक‍तनाव‍या‍कल‍से‍पीहिड़त‍महिला‍जो‍गुजारा‍भत्‍ता‍के‍बगैर‍घर‍छोड़ने‍पर‍हिववश‍ों‍तथा‍ऐसी‍महिलाएं‍

जिजनके‍पास‍शोषण‍और/या‍वैवाहिक‍कल‍के‍कारण‍मुकदमेंबाजी‍झेल‍री‍ो, और‍उनके‍पास‍कोई‍हिवशेष‍सुरक्षापाय‍न‍ो।‍

(च) महिलाओं के अवैध व्‍यापार/वैश्‍यालयों से छ़ुड़ाई गई या भाग कर बचकर आई हुई बालिलकाओं या अन्‍य स्‍थानों से जां वे शोषण का‍लिशकार ो जाती ैं तथा एचआईवी/एड्स से पीहिड़त सामाजिजक या आर्थिथंक सायता से हिवीन महिलाए ं ।यद्यहिप ऐसी‍महिलाए/ंबालिलकाए ंपले उज्‍ज्‍वला स्‍कीम के अंतग�त, जां कीं भी लागू ोगी, सायता‍प्राi‍त‍करेंगी‍।‍

घरेलू‍हिंसा‍से‍पीहिड़त‍महिलाए‍ंएक‍वष�‍तक‍र‍सकती‍ैं‍।‍अन्‍य‍श्रेणिणयों‍की‍महिलाए‍ंअघिधकतम‍3 वष�‍तक‍र‍सकती‍ैं‍।‍55 वष�‍से‍अघिधक‍आयु‍की‍महिला‍को‍अघिधकतम‍5 वष�‍तक‍रखा‍जा‍सकता‍ै, तत्‍पश्‍चात‍उन्‍ें‍वृद्धाश्रम‍या‍समतुल्‍य‍संस्‍थानों‍में‍स्‍थानांतरिरत‍कर‍ठिदया‍जाएगा।

उपयु�क्‍त‍श्रेणिणयों‍की‍महिलाओं‍के‍बच्‍चों‍को‍भी‍स्‍वाधार‍गृ‍सुहिवधाए‍ंदी‍जा‍सकती‍ैं, 18 वष�‍की‍आयु‍तक‍की‍बालिलकाओं‍और‍8 वष�‍की‍आयु‍तक‍के‍बालकों‍को, उनकी‍माताओं‍के‍साथ‍रने‍की‍अनुमहित‍ोगी‍।‍8 वष�‍से‍अघिधक‍आयु‍के‍बालक‍जेजे‍अघिधहिनयम/आईसीपीएस‍के‍अधीन‍चलाए‍जा‍रे‍'बाल‍गृों' में‍स्‍थानान्‍तरिरत‍कर‍ठिदए‍जाएगें‍।‍

(च) - काया0न्‍वयन‍अभिभकरणें‍त�ा‍पात्रता‍मानदंड‍‍‍

(i) इस‍‍योजना‍के‍अधीन‍हिनम्‍न‍में‍से‍कोई‍भी‍एजेंलिसयां/संगLन‍सायता‍प्राi‍त‍कर‍सकता‍ै:

क. राज्‍य‍सरकारों‍द्वारा‍स्‍थाहिपत‍महिला‍हिवकास‍हिनगमों‍सहित‍राज्‍य‍सरकार‍की‍एजेंलिसयां.ख. केन्‍द्र‍अथवा‍राज्‍य‍‍सरकार‍के‍स्‍वायत‍संगLन.ग. नगरीय‍हिनकाय.घ. छावनी‍बोड�.ङ. पंचायती‍राज‍संस्‍थान‍‍एवं‍को-आपरेठिर्टव‍संस्‍थान.

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च. महिला‍एवं‍बाल‍हिवकास‍मंत्रालय‍/राज्‍य‍सरकारों‍के‍समाज‍कल्‍याण‍के‍‍हिवभाग‍जो‍स्‍वयं‍स्‍वाधार‍गृ‍हिनमा�ण‍कर‍इस‍स्‍कीम‍के‍अधीन‍प्रचालन‍काय�‍प्रबंधन‍संबंधी‍उसे‍चला‍सकें ‍या‍पया�i‍त‍अवघिध‍जो‍भी‍Lीक‍ो, का‍अनुभव‍ो‍ऐसे‍संगLन‍को‍लीज़‍पर‍दे‍सके

छ. तत्‍समय‍पर‍लागू‍हिकसी‍भी‍कानून‍के‍अंतग�त‍पंजीकृत‍साव�जहिनक‍न्‍यास.ज. लिसहिवल‍समाज‍संगLन‍जैसे‍एनजीओ‍आठिद‍जिजन्‍ोंने‍‍महिलाओं‍‍के‍कल्‍याण/समाज‍कल्‍याण/महिला‍लिशक्षा‍के‍के्षत्र‍में‍

बहुत‍ी‍अच्‍छा‍काय�‍हिकया‍ो‍‍बशतu‍हिक‍संगLन‍भारतीय‍सोसायर्टी‍पंजीकरण‍अघिधहिनयम, 1860 या‍हिकसी‍अन्‍य‍प्रासंहिगक‍राज्‍य‍अघिधहिनयम‍के‍अंतग�त‍पंजीकृत‍ो।‍‍

(ii) पैरा‍(छ) और‍(ज) के‍अंतग�त‍आने‍वाले‍संगLनों‍को‍हिनम्‍नलिलखिखत‍मानदंड‍पूरे‍करने‍ोंगे‍:

क) वत�मान‍स्‍कीम/कानून‍‍के‍अंतग�त‍या‍तो‍य‍राज्‍य/संघ‍शालिसत‍प्रदेश‍से‍‍मान्‍यता‍प्राi‍त‍ोनी‍चाहिए‍या‍इस‍के्षत्र‍में‍कम‍से‍कम‍3 वष�‍का‍काया�त्‍मक‍अनुभव‍‍सहित‍ख्‍याहित‍प्राi‍त‍ो‍और‍इसके‍काय�‍की‍संबंघिधत‍‍राज्‍य‍सरकार/संघ‍राज्‍य‍प्रशासनों‍द्वारा‍संतोषजनक‍रिरपोर्ट�‍दी‍ो।

ख) साधारणतया‍ये‍संगLन,इस‍योजना‍के‍अंतग�त‍अनुदान‍सायता‍के‍लिलए‍आवेदन‍करने‍से‍पूव�, महिलाओं‍के‍कल्‍याण/समाज‍कल्‍याण/महिला‍लिशक्षा‍के‍काय�‍‍से‍कम‍से‍कम‍दो‍वष�‍से‍जुडे़‍ों।

ग) परिरयोजना‍के‍प्रबंधन‍काय�‍के‍लिलए‍संगLन‍के‍पास‍सुहिवधाए‍ंस्रोत, कार्मिमंक‍‍और‍अनुभव‍ोना‍चाहिए.घ) अनुदान‍में‍हिवलंब‍ोने‍की‍स्‍थिxहित‍में‍कुछ‍मा‍तक‍व्‍यय‍के‍वन‍के‍लिलए‍हिवत्‍तीय‍स्‍थिxहित‍सुदृढ़‍ोनी‍चाहिए।ङ) व‍स्‍वाधागृ‍को‍हिकसी‍लाभ‍के‍हिबना‍चलाएगा‍।च) संगLन‍के‍सभी‍आधार‍गृों‍में‍‍कंम्‍यूर्टर, इंर्टरनेर्ट‍कनेक्‍शन, आठिद‍जैसी‍सुहिवधा‍ोनी‍चाहिए।

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(iii) स्‍कीम‍के‍घटक

क. भवन‍के‍हिनमा�ण‍के‍लिलए‍भवन‍हिनमा�ण‍अनुदान‍केवल‍राज्य‍सरकारों, नगर‍हिनगमों, छावनी‍बोडY‍तथा‍पंचायती‍राज‍संस्‍थाओं‍के‍लिलए‍स्‍वीकाय� ‍ोगा।‍इस‍प्रयोजन‍के‍ लिलए‍भूघिम‍काया�न्‍वयन‍ऐजेंसी‍द्वारा, हिन:शुल्‍क‍(हिकराया‍मुक्‍त) उपलब्‍ध‍कराई‍जाएगी।

ख. स्‍वाधार‍गृों‍के‍लिलए‍हिकराया, यठिद‍हिकराय‍के‍भवन‍में‍प्रचालन‍हिकया‍जा‍रा‍ो।‍ग. स्‍वाधार‍गृों‍के‍प्रबंधन‍के‍लिलए‍आवतU‍एवं‍गैर‍आवतU‍व्‍यय‍के‍लिलए‍सायता‍।घ. हिनवालिसयों‍और‍बच्‍चों‍के‍लिलए‍भोजन, आश्रय, वस्‍त्र, लिचस्‍थिक्त्सा‍देखभाल, जेब‍खच�‍का‍प्रावधान।ङ. परामश�, कानूनी‍स‍ायता, वस्‍त्र, व्‍यावसाघियक‍प्रलिशक्षण‍व‍माग�दश�न‍का‍प्रावधान।

ज. सायता‍का‍पैटन0‍

केन्‍द्र‍सरकार(महिला‍एवं‍बाल‍हिवकास‍मंत्रालय) , काया�न्‍वयन‍एजेंलिसयों‍को‍जारी‍करने‍के‍लिलए‍राज्‍य‍सरकारों‍और‍केन्‍द्र‍शालिसत‍प्रशासनों‍को‍‍अनुदान‍सायता‍के‍रुप‍में‍शत-प्रहितशत‍हिनघिध‍जारी‍करेंगे।काया�न्‍वयन‍एजेंलिसयां‍उपयु�क्‍त‍अनुसार‍सभी‍घर्टकों‍के‍लिलए‍सायता‍मांग‍सकती‍ैं‍।‍‍तथाहिप, सायता‍केवल‍कुछ‍ी‍घर्टकों‍के‍लिलए‍भी‍मांगी‍जा‍सकती‍ै‍बशतu‍हिक‍दुसाध्‍य‍परिरस्‍थिxहितयों‍में‍महिलाओं‍की‍सायता‍करने‍के‍लिलए‍अन्‍य‍सुहिवधाए‍ंउपलब्‍ध‍ों।‍सरकार, स्‍वाधार‍गृों‍की‍स्‍थापना‍और‍प्रचालन‍के‍लिलए‍काया�न्‍वयन‍संगLनों‍को‍हिनम्‍न‍प्रकार‍की‍हिवत्‍तीय‍सायता‍प्रदान‍करेगी:

i) हिनमा0ण‍के‍लिलए‍सायता:

सरकार, हिनवालिसयों‍को‍आश्रय‍देने‍के‍लिलए‍कमरों/कारे्टजों/कुठिर्टयों‍के‍हिनमा�ण‍ ‍तथा‍रसोई, स्‍नानागार, प्रलिशक्षण‍ाल, मनोरंजन‍कक्ष, भोजनालय, काया�लय-कक्षजैसी‍और‍पानी, हिवद्युत, पहंुच‍माग�‍चार‍ठिदवारी‍आठिद‍जैसी‍‍सामान्‍य‍सुहिवधाओं‍आठिद‍के‍लिलए‍सायता‍प्रदान‍‍करेगी।‍य‍सायता‍अघिधकतम‍रू. 1,33,000/- प्रहित‍हिनवासी‍की‍दर‍से‍दी‍जाएगी।‍हिनमा�ण‍के‍लिलए‍अनुदान‍महिला‍हिवकास‍हिनगमों, कें द्रीय‍या‍राज्‍यों‍के‍स्‍वायत्‍त‍संगLनों, नगर‍हिनगमों‍और‍पंचायती‍राज‍संस्‍थानों‍सहित‍राज्‍य‍सरकारों‍को‍दी‍जाएगी‍।‍आकलन‍में‍हिनमा�ण‍की‍मदों/ सेवाओं‍की‍दरें, राज्‍यों‍के‍लोक‍हिनमा�ण‍हिवभागो‍की‍अनुसूची‍में‍अनुसूलिचत‍दरों‍से‍अघिधक‍नीं‍ोनी‍चाहिए।ं

(ii) हिकराया‍सायता

30 हिनवालिसयों‍के‍लिलए‍उपयुक्‍त‍‘क’‍शे्रणी‍के‍शरों‍में‍स्‍वाधार‍गृों‍के‍लिलए‍स्‍वीकाय�‍अघिधकतम‍हिकराया‍रू.50,000/- रुपये‍प्रहित‍मा‍ै‍‘ख’‍श्रेणी‍के‍शरों‍में‍स्‍वाधार‍गृों‍के‍लिलए‍रू.30,000 तथा‍अन्‍य‍स्‍थानों‍पर‍अवस्‍थिxत‍स्‍वाधार‍गृों‍के‍लिलए‍रू.18,000 ै।‍ ‍य‍सुहिनणि|त‍हिकया‍जाना‍चाहिए‍हिक‍भवन‍उच्‍च‍हिकराए‍वाले‍क्षेत्रों‍म ें‍अवस्‍थिxत‍न‍ो।‍ ‍भवन‍के‍हिकराए‍के‍औलिचत्‍य‍का‍प्रमाणन्, जिजला‍कलैक्‍र्टर/राज्‍य‍लो.हिन.हिव. या‍संबंघिधत‍राज्‍य/कें द्र‍प्रशालिसत‍प्रदेश‍के‍प्रशासन‍द्वारा‍प्राघिधकृत‍हिकसी‍अन्‍य‍एजेंसी‍द्वारा‍हिकया‍जाना‍चाहिए।

आवासीय‍परिरसर‍के‍मानक

स्‍वाधार‍गृ‍द्वारा, हिनवालिसयों‍के‍लिलए‍एवं‍प्रहितघि}त‍जीवन-मानक‍ ‍सुहिनणि|त‍करने‍वाली‍आवासीय‍सुहिवधाए‍ंप्रदान‍की‍जाएगंी।‍तदनुसार, स्‍वाधार‍गृ‍द्वारा, प्रत्‍येक‍स्‍वाधार‍गृ, कामन‍स्‍पेस‍और‍साव�जहिनक‍सुहिवधाओं‍के‍अलावा‍, लगभग‍80 वग�फुर्ट‍का‍एक‍आवासीय‍स्‍थान‍प्रत्‍येक‍आवासी‍के‍लिलए‍प्रदान‍हिकया‍जाना‍चाहिए।‍‍इसके‍अहितरिरक्‍त‍प्रत्‍येक‍स्‍वाधार‍गृ‍समुलिचत‍रुप‍से‍वादार‍ोने‍के‍अहितरिरक्‍त‍‍स्‍नानागार, शौचालय, भोजनालय, एवं‍बैLक-कक्ष/मनोरंजंन-कक्ष/ प्रलिशक्षण‍ॉल‍‍के‍लिलए‍बहुउदे्दशीय‍‍ॉल‍जैसी ‍सुहिवधाए ‍ंोनी ‍चाहिए।‍स्‍वाधार ‍ गृों ‍ के ‍परिरसर ‍स्पष्ट‍तौर ‍पर‍सीमांहिकत‍ोन े‍चाहिए ‍ंऔर‍इनम ें‍कोई‍अन्‍य ‍आवासीय‍गहितहिवघिधयां‍प्रचालिलत‍नीं‍की‍जानी‍चाहिए।

(iii) प्रशासन‍और‍प्रबंधन‍ ‍:‍‍ 30 हिनवालिसयों‍के‍स्‍वाधार‍गृ‍ेतु‍स्‍र्टाफ‍का‍हिनदuशात्‍मक‍प्रावधान‍इस‍प्रकार‍ोगा:

(राभिश‍रूपयों‍में)क्रम‍सं.

पदनाम पदो‍की‍संख्‍या मालिसक‍परिरलब्धिCयां वार्षिEFक‍परिरलब्धिCयां

1. आवासीय‍अधीक्षक 1 12,000 1,44,0002. काउंसलर 1 10,000 1,20,0003. काया�लय‍सायक-स- डीईओ 1 8000 96,0004. लिचहिकत्‍सक‍(अंश‍कालिलक) 1 6000 72,0005. गाड�/चौकीदार 2 10,000 1,20,000कुल 6 46,000 5,52,000

iv) अन्‍य‍आवत3‍व्‍यय‍ ‍:‍‍ 30 हिनवालिसयों‍के‍स्‍वाधार‍गृ‍के‍लिलए‍हिनम्‍नानुसार‍आवतU‍व्‍यय‍‍संस्‍वीकृत‍हिकया‍गया‍ै‍:

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(राभिश‍रूपयों‍में)

क्रम‍सं.

हिववरण इकाई व्‍यय‍(मालिसक) व्‍यय‍(वार्षिEFक)

1 भोजन‍ेतु‍व्‍यय प्रहित‍हिनवासी 1300 468000#2 वस्‍त्रों‍के‍लिलए प्रहित‍हिनवासी ----- 30000#3 दवाओं, व्‍यस्‍थिक्‍तगत‍स्‍वच्‍छता‍संबंधी‍

उत्‍पादों‍इत्‍याठिद‍पर‍व्‍यय‍प्रहित‍हिनवासी 175 63000#

4 जेब‍खच� प्रहित‍हिनवासी‍ 100 36000#5 मनोरंजन‍पर‍व्‍यय समेहिकत 12000#6 एनसीवीर्टी‍अनुमोठिदत‍‍योजना‍और‍

प्रमाण-पत्र‍जारी‍‍करने‍‍ेतु‍‍व्‍यावसाघियक‍प्रलिशक्षण‍‍के‍लिलए‍फीस‍की‍प्रहितपूर्तितं‍

श्रम‍हिवभाग‍/एनसीवीर्टी‍द्वारा‍मानकों‍के‍अनुसार‍प्रहित‍महिला‍प्रलिशक्षण‍और‍जांच‍शुल्‍क‍की‍प्रहितपूर्तितं

*1800 /- प्रहित‍हिनवासी‍प्रहितवष�

27000**(वास्‍तहिवक‍व्‍यय‍के‍अनुसार)

7 दूरभाष‍प्रभार‍सहित‍फुर्टकर‍व्‍यय‍ प्रहित‍गृ 50,0008 हिकराया‍*** प्रहित‍गृ 50,000/-

30,000/-18000/-

6,00.000/-3,60,000/-2,16,000/-

कुल 12,86,000/-10,46,000/- 9,02,000/-

# 25 से‍35 वष�‍के‍आयु‍समू‍की‍महिलाए‍ंऔर‍उनके‍बच्‍चे‍केवल‍12 मा‍की‍अवघिध‍के‍लिलए‍सभी‍लाभों‍के‍पात्र‍ोंगे‍तथा‍उसके‍बाद‍उन्‍ें‍केवल‍आवास‍की‍सुहिवधा‍प्रदान‍की‍जाएगी‍तथा‍अपने‍व्‍यय‍वे‍स्‍वयं‍वन‍करेंगे‍

* व्‍यावसाघियक‍प्रलिशक्षण‍ेतु‍व्‍यय‍एनसीवीर्टी‍द्वारा‍अनुमोठिदत‍पाLयTमों‍के‍लिलए‍आकलन‍रू.1800/- रुपये‍प्रहित‍हिनवासी‍की‍दर‍से‍परिरकलिलत‍हिकया‍गया‍ै‍जिजनके‍लिलए‍प्रलिशक्षण‍शुल्‍क‍प्रलिशक्षण‍की‍अवघिध‍के‍आधार‍पर‍रू. 500 से‍2000/- रुपये‍तक‍आता‍ै।‍य‍अनुमाद‍लगाया‍गया‍ै‍हिक‍प्रहित‍हिनवासी‍औसतन‍प्रलिशक्षण‍शुल्‍क‍रू.1000/-(महिलाओें‍के‍लिलए‍प्रलिशक्षण‍फीस‍में‍25 प्रहितशत‍छूर्ट‍का‍समंजन‍करने‍के‍पश्‍चात) ोगी।‍रू.800/- प्रहित‍महिला‍‍की‍दर‍से‍जाच-परीक्षण‍फीस‍‍सहित‍अनुमाहिनत‍प्रलिशक्षण‍लागत‍‍रू.1800/- प्रहित‍हिनवासी‍आएगी।

** य‍अनुमान‍लगाया‍गया‍ै‍हिक‍50 प्रहितशत‍हिनवासी‍पुनवा�स‍ेतु‍प्रलिशक्षण‍सुहिवधाओं‍का‍लाभ‍उLाएगंे।‍इस‍प्रकार, 30 महिलाओं‍की‍क्षमता‍वाले‍स्‍वाधार‍गृ‍के‍लिलए‍व्‍यावसाघियक‍प्रलिशक्षण‍शीष�‍के‍अंतग�त‍आकलिलत‍वार्तिषंक‍व्‍यय, 27,000/- रू. ोगा।‍तथाहिप‍स्‍वाधार‍गृ‍को, प्रलिशक्षण‍शुल्‍क‍की‍अघिधकतम‍सीमा‍के‍हिबना, प्रलिशक्षण‍शुल्‍क‍की‍प्रहितपूर्तितं‍की‍जाएगी।

***वगUकरण‍के‍अनुसार‍

+हिनयुक्‍त‍हिकए‍गए‍स्‍र्टाफ‍के‍हिकराए‍और‍वेतन‍का‍भुगतान‍चैकों‍और‍इलैक्‍ट्रॉहिनक‍गेर्टवे‍के‍माध्‍यम‍से‍हिकया‍जाना‍चाहिए।

V. बच्‍चों‍के‍लिलए‍प्रावधान: स्‍वाधार-गृ‍के‍बच्‍चों‍के‍लिलए‍व्‍यय‍का‍प्रावधान,, प्रत्‍येक‍महिला‍के‍लिलए‍लागू‍आवतU‍व्‍यय‍के‍2/3 भाग‍की‍दर‍से‍हिकया‍जाएगा।

गैर‍ ‍-‍‍आवत3‍व्‍यय‍ ‍:‍‍ मेज-कुसU, पलंग/चारपाई, बत�न, रे्टलीहिवज़न‍आठिद‍सहित‍आवश्‍यक‍‍मदों‍की‍खरीद‍ेतु‍व्‍यय‍के‍लिलए‍5000/- रू. की‍दर‍से‍एकबार‍में‍गैर‍आवतU‍व्‍यय‍का‍प्रावधान‍हिकया‍जाएगा।‍ ‍तथाहिप, पांच‍वष�‍तक‍परिरयोजना‍के‍सफलतापूवक� ‍काय�‍करने‍पर‍परिरयोजना‍स्‍वीकाय�ता‍सघिमहित‍, इसके‍‍आगे‍की‍अवघिध‍के‍लिलए‍हिनरंतर‍प्रचालन‍ेतु‍हिनण�य‍लेते‍समय, मरम्‍मत‍‍न‍हिकए‍जा‍सकने‍के‍योग्‍य‍मदों‍को‍बदलने‍के‍लिलए‍मूल‍अनुदान‍से‍कम‍उलिचत‍रालिश‍की‍स्‍वीकृहित‍प्रदान‍कर‍सकती‍ै।

1. स्‍वाधारगृ‍के‍स्‍टाफ‍के‍कत0व्‍य:

क) रेस्‍थिLजडेंट‍अधीक्षक: व‍‍स्‍वाधार‍का‍संपूण�‍प्रभारी/प्रशासहिनक‍प्रधान‍ोगा‍तथा‍य‍‍सुहिनणि|त‍करेगा‍हिक‍सभी‍स्‍वाधार‍के‍सुचारु‍रुप‍से‍काय�‍करें‍ताहिक‍स्‍वाधार‍के‍हिनवालिसयों‍की‍कठिLनाइयां‍दूर‍की‍जा‍सकें ‍।

(ख) काउंसलर ‍: व‍स्‍वाधार‍गृ‍के‍हिनवालिसयों‍एवं‍ज़रुरतमंद‍महिलाओं‍को‍रे्टलिलफोन‍के‍माध्‍यम‍से‍स्‍वाधार‍गृ‍प्रदान‍करेगा/करेगी।‍व‍स्‍वाधार‍गृ‍के‍प्रबंधन‍में‍रेजिजडेंर्ट‍अधीक्षक‍को‍भी‍स‍ायता‍प्रदान‍करेंगी।

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शैभिक्षक‍योग्‍यता:अघिधमानत: स्‍नातकोत्‍तर ‍ हिडग्री ‍ के ‍साथ ‍ऐस े‍ गृों ‍म ें‍ ‍2-3 वष� ‍ के‍

पय�वेक्षण‍काय�‍अनुभव‍

काउंसलर‍ सामाजिजक‍काय�/मनोहिवज्ञान/सामाज- हिवज्ञान‍ ‍म ें‍मास्‍र्टस�‍हिडग्री‍तथा‍पूव�‍अनुभव‍वालों‍को‍वरीयता‍दी‍जाएगी।‍

काया�लय‍सायक‍ स्‍नातक(कंi‍यूर्टर‍प्रचालन‍काय�‍में‍दक्ष)।

गाड�/चौकीदार/सेवादार माध्‍यघिमक‍स्‍तर‍तक।

मौजूदा‍गृों‍में‍हिपछले‍पांच‍वष�‍से‍अघिधक‍समय‍से‍‍काय�रत‍स्‍र्टाफ‍के‍संबंध‍में‍उपयु�क्‍त‍शैणिक्षक‍योग्‍यताओं‍की‍अहिनवाय�ता‍पर‍जोर‍देना‍आवश्‍यक‍नीं‍ै।

झ) सायक‍सेवाए:ं

क) कानूनी ‍ सेवाए:ं लाभार्थिथंयों ‍ के ‍ लिलए‍कानूनी ‍सायता ‍ ‍की ‍आवश्‍यकता ‍को ‍ जिजला ‍कानूनी ‍सेवाए ‍ंप्राघिधकरण‍(डीएलएसए) के‍माध्‍यम‍से‍पूरा‍हिकया‍जाएगा।‍ ‍यठिद, डीएलएसए‍से‍इस‍प्रकार‍की‍सायता‍उपलब्‍ध‍नीं‍ै‍तो‍काया�न्‍वयन‍संगLन‍समुलिचत‍कानूनी‍सायता‍के‍लिलए‍वैकस्‍थिल्पक‍व्‍यवस्‍था‍का‍प्रबंध‍करेगा‍।

ख) व्‍यावसामियक‍प्रभिशक्षण‍: महिलाओं‍को‍व्‍यावसाघियक‍प्रलिशक्षण‍देने‍के‍लिलए‍काया�न्‍वयन‍एजेंलिसयां, श्रम‍एवं‍रोजगार‍मंत्रालय‍के‍अधीन‍रोजगार‍एवं‍प्रलिशक्षण‍माहिनदेशालय‍द्वारा‍मान्‍यता‍प्राi‍त‍व्‍यावसाघियक‍प्रलिशक्षण‍संस्‍थानों‍के‍माध्‍यम‍से‍व्‍यावसाघियक‍प्रलिशक्षण‍देने‍के‍लिलए‍प्रबंध‍हिकए‍जाएगंे।‍प्रलिशक्षण‍को‍सफलतापूव�क‍पूरा‍करने‍के‍पश्‍चात‍प्रलिशक्षण‍संस्‍थान‍‍द्वारा‍जारी‍प्रमाण-पत्र‍प्रस्‍तुत‍करने‍पर, प्रलिशक्षण‍और‍परीक्षा‍शुल्‍क‍की‍प्रहितपूर्तितं‍की‍जाएगी।‍व्‍यावसाघियक‍प्रलिशक्षण‍के‍दौरान‍हिनवालिसयों‍को‍ले-जाने‍और‍वापस‍लाने‍के‍लिलए‍परिरवन‍संबंधी‍‍फुर्टकर‍व्‍यय‍शीष�‍के‍अंतग�त‍हिकया‍जाएगा।

ग) लिचहिकत्‍सा‍सुहिवधाए‍ं: स्‍वास्‍थ्‍य‍जांच‍और‍लिचहिकत्‍सा‍सुहिवधाओं‍के‍लिलए‍उन्‍ें‍लिसहिवल‍अस्‍पताल/सीएचसी/पीएचसी‍के‍साथ‍जोड़ा‍जाएगा।‍तथाहिप, काया�न्‍वयन‍संगLन‍को‍स्‍वाधारगृ‍का‍सi‍ता‍में‍एक‍बार‍दौरा‍करने‍के‍लिलए‍एक‍अंशकालिलक‍लिचहिकत्‍सक‍हिनयुक्‍त‍करना‍ोगा‍ताहिक‍उनमें‍रने‍वालों‍के‍सामान्‍य‍स्‍वास्‍थ्‍य‍का‍ध्‍यान‍रखा‍जा‍सके‍।‍लिचहिकत्‍सक‍द्वारा‍हिनधा�रिरत‍की‍गई‍दवाओं‍की‍खरीद‍के‍लिलए‍व्‍यय, 'लिचहिकत्‍सा‍देखभाल‍एवं‍वैयलि�क‍ ‍स्‍वच्‍छता‍शीर्ष्‍' के‍अंतग�त‍हिकया‍जाएगा।

घ) काउंलिसलिलFग‍: स्‍वाधार‍गृ‍स्‍कीम‍के‍अंतग�त‍प्रस्‍ताहिवत‍‍स्‍र्टाफए‍जरुरतमंद‍महिलाओं‍को‍दूरभाष‍पर‍सेवाए‍ंप्रदान‍करेगा‍तथा‍रे्टलीफोन‍की‍कालों‍से‍संबंघिधत‍व्‍यय‍'फुर्टकर‍व्‍यय' शीष�‍से‍हिकया‍जाएगा।

स्‍कीम‍के‍काया�न्‍वयन‍के‍दैारान, राज्‍य‍सरकारें‍तथा‍काया�न्‍वयन‍संगLन, अनौपचारिरक‍लिशक्षा, कौशल‍हिवकास‍और‍‍केन्‍द्र‍और‍राज्‍यों‍सरकारों‍के‍अन्‍य‍काय�Tमों‍के‍साथ‍आवश्‍यक‍जुड़ाव‍स्‍थाहिपत‍करेंगे।

सभी ‍ काया�न्‍वयन ‍ संगLन,एनएसीओ, राज्‍य ‍ एड्स ‍ हिनयंत्रण ‍ ‍ संस्‍थाए ‍ं तथा ‍ जिजला ‍ अस्‍पताल, एचआईवी/एड्स ‍ से‍संTघिमत/पीस्‍थि़डत‍‍हिनवालिसयों‍के‍स्‍वास्‍थ्‍य‍की‍देखभाल‍करेंगे।‍

राज्‍य‍सरकार ें‍, स्‍वाधार‍गृ‍द्वारा‍प्रदान‍की‍जान े‍वाली‍सेवाओं‍की‍गुणवत्‍ता‍म ें‍ सुधार‍लान े‍के‍ लिलए‍काय�कता�ओं‍ेतु‍अणिभमुखी-काय�Tमों‍के‍लिलए‍उपयुक्‍त‍एजेंलिसयों‍का‍नामांकन‍करेगी।काया�न्‍वयन‍एजेंसी‍को‍स्‍वाधार‍गृ‍में‍एक‍उपयुक्‍त‍स्‍थान‍पर, जिजला‍स्‍तर‍के‍संबंघिधत‍अघिधकारिरयों‍के‍नाम, दूरभाष‍नंबर, उपलब्‍ध‍सुहिवधाओं‍और‍सेवा‍की‍प्रत्‍येक‍मद/घर्टक/सेवा‍के‍लिलए‍हिनधा�रिरत‍धनरालिश‍का‍हिववरण‍प्रदलिशत‍करना‍चाहिए।

र्ट. नई‍परिरयोजना‍की‍स्वीकृहित‍(स्वाधार‍गृ)

क) राज्य‍सरकारें‍राज्य‍में‍अपेणिक्षत‍नई‍परिरयोजनाओं‍की‍संख्या‍का‍आकलन‍करेंगी‍और‍योजना‍के‍प्रभारी‍संयु�‍सलिचव‍महिला‍एवं‍बाल‍कल्याण‍मंत्रालय, भारत‍सरकार, शास्त्री‍भवन, नई‍ठिदल्ली‍को‍र‍वष�‍30 लिसतम्बर‍तक‍औलिचत्य‍का‍प्रहितपादन‍करते‍हुए‍सूलिचत‍करेंगी. संसाधनों‍की‍उपलब्धता‍के‍अधीन‍कें द्र‍सरकार‍उन‍परिरयोजनाओं‍की‍संख्या‍सूलिचत‍करेंगी‍जिजनका‍अनुमोदन‍हिकया‍जा‍सकता‍ै‍और‍परवतU‍हिवत्तीय‍वष�‍के‍बजर्ट‍में‍आवश्यक‍प्रावधान‍हिकया‍जाएगा.

ख) राज्य‍सरकारें‍पात्र‍संगLनों‍से‍आवेदन‍आमंहित्रत‍कर‍सकती‍ैं‍और‍जो‍प्रस्ताव‍‍‍‍‍मानदंडों‍को‍पूरा‍करते‍ैं, उनको‍राज्य/संघ‍शालिसत‍प्रशासन‍के‍हिवत्त‍और‍श्रम‍हिवभाग‍के‍प्रहितहिनघिधयों‍तथा‍अन्य‍हिकसी‍प्रहितहिनघिध, जैसा‍भी‍राज्य/संघ‍

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शालिसत‍के्षत्र‍प्रशासन‍हिनण�य‍ले, को‍शाघिमल‍करते‍हुए‍संबंघिधत‍राज्य‍सरकार‍/संघ‍शालिसत‍के्षत्र‍के‍सलिचव‍(महिला‍एवं‍बाल‍हिवकास) की‍अध्यक्षता‍की‍परिरयोजना‍स्वीकृहित‍सघिमहित‍(पीएससी) के‍समक्ष‍रखा‍जा‍सकता‍ै.

स्वाधार‍गृ‍प्रारम्भ‍म ें‍05 वष�‍के‍लिलए‍स्वीकृत‍हिकए‍जाएगंे. 05 वष�‍की‍अवघिध‍के‍काया�न्वयन‍के‍प|ात‍परिरयोजना‍स्वीकृहित‍सघिमहित‍उसको‍आगे‍जारी‍रखने‍अथवा‍उसके‍काय�‍हिनष्पादन‍और‍जरूरत‍के‍अनुरूप‍अन्यथा‍हिनण�य‍ले‍सकती‍ै.

�‍) अनुदान‍जारी‍करने‍की‍प्रहिक्रया‍‍‍‍‍

राज्य‍सरकारें‍/संघ‍शालिसत‍प्रशासन‍हिनम्नानुसार‍हिTयान्वयन‍ऐजेंलिसयों‍को‍अनुदान‍जारी‍करेंगी‍:

क) स्वाधार‍गृ‍के‍हिनमा0ण‍ेतु‍:

i. नए‍स्वाधार‍गृ‍के‍लिलए‍अनुदान‍संबंघिधत‍राज्य/कें द्र‍शालिसत‍प्रशासन‍द्वारा‍तीन‍(03) हिकस्तों‍में‍50:40:10 के‍अनुपात‍में‍जारी‍हिकया‍जाएगा. फनUचर‍और‍कॉमन‍एरिरया‍सुहिवधाओं‍की‍खरीद‍के‍लिलए‍एकमुश्त‍अनुदान‍हिनमा�ण‍लागत‍की‍‍10% की‍अंहितम‍हिकस्त‍के‍साथ‍जारी‍हिकया‍जाएगा.

ii. भवन‍के‍ हिनमा�ण‍की‍अनुमहित‍के‍साथ‍xानीय‍प्राघिधकारिरयों‍द्वारा ‍अनुमोठिदत‍ ‍भवन‍का‍iलान‍परिरयोजना‍स्वीकृहित‍सघिमहित ‍(पीएससी) द्वारा‍प्रस्तुत‍हिकए‍प्रस्ताव‍का‍हिस्सा‍ोना‍चाहिए।‍परिरयोजना‍स्वीकृहित‍सघिमहित‍(पीएससी) द्वारा‍प्रस्ताव‍का‍अनुमोदन‍ो‍जाने‍के‍बाद‍पली‍हिकस्त‍हिTयान्वन‍ऐजेंलिसयों‍को‍जारी‍की‍जाएगी।

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iii. जब‍हिTयान्वन‍ऐजेंलिसयों‍द्वारा‍पूव�‍हिकस्त‍को‍खच�‍कर‍लिलया‍गया‍ो‍तो‍दूसरी‍हिकस्त‍जारी‍की‍जाएगी. अगली‍हिकस्त‍जारी‍करने‍के‍अनुरोध‍के‍साथ‍हिनस्‍थिम्न्लखिखत‍कागजात‍संलग्न‍हिकए‍जाएगें‍: क.) सनदी‍लेखाकार‍/सरकारी‍लेखा‍परीक्षक‍द्वारा‍हिवघिधवत‍सत्याहिपत‍पूव�‍हिकस्त‍के‍उपयोग‍प्रमाण‍पत्र‍और‍

अनुमोठिदत‍iलान‍के‍हिनष्पादन‍पर‍उपलिचत‍‍वास्तहिवक‍व्यय‍का‍अद्यतन‍समेहिकत‍हिववरणख.) हिTयान्वन‍ऐजेंसी‍द्वारा‍हिनमा�ण‍काय�‍की‍अद्यतन‍वास्तहिवक‍प्रगहित‍सूलिचत‍करते‍हुए‍हिववरण‍संबंघिधत‍राज्य‍

सरकार‍को‍हिववरण‍प्रस्तुत‍करना‍चाहिए.

(iv) भवन‍का‍हिनमा�ण‍पूरा‍ो‍जाने‍पर‍तीसरी‍और‍अंहितम‍के‍साथ‍उपरो�‍वर्णिणंत‍एकमुश्त‍अनुदान‍जारी‍हिकया‍जाएगा‍बशतu‍हिक‍हिनम्‍नलिलखिखत‍प्रलेख‍प्रस्तुत‍ों:

क) राज्य‍पी‍ड्ब्ल्यू‍डी/सी‍पी‍ड्ब्ल्यू‍डी ‍/ ाउलिसंग‍बोड� ‍स े‍इस‍आशय‍का‍काय�‍पूण�ता‍प्रमाण‍पत्र‍हिक‍अनुमोठिदत‍iलान‍और‍अनुमाहिनत‍खच�‍‍के‍अनुसार‍भवन‍हिनमा�ण‍काय�‍पूरा‍ो‍गया‍ै, और‍

ख) समेहिकत‍उपयोग‍प्रमाण‍पत्र‍(जिजसमें‍पली‍और‍दूसरी‍हिकस्त‍के‍स्पष्ट‍और‍अलग-अलग‍उपयोग‍का‍प्रमाण‍पत्र‍भी‍शाघिमल‍रेगा) और‍सनदी‍लेखाकार/सरकारी‍लेखा‍परीक्षक/अघिधकृत‍लेखा‍परीक्षक‍द्वारा‍हिवघिधवत‍लेखा‍परीणिक्षत‍भवन‍के‍हिनमा�ण‍पर‍उलिचत‍व्यय‍का‍हिववरण।‍

ग) भवन‍के‍कम‍से‍कम‍चार‍कोनों‍के‍अद्यतन‍फोर्टो‍जिजसमें‍ऊंचाई, साइड‍ऊंचाई‍और‍एक‍नामपट्ट‍को‍नजदीकी‍से‍य‍दशा�ने‍वाला‍हिक‍स्वाधार‍गृ‍का‍हिनमा�ण‍महिला‍एवं‍बाल‍कल्याण‍मंत्रालय, भारत‍सरकार‍की‍हिवत्तीय‍सायता‍से‍हिकया‍गया‍ै.

ढ.) हिकराए‍के‍परिरसर‍में‍स्वाधार‍गृ

जां‍हिकराए‍के‍स्वाधार‍गृ‍के‍संबंध‍में‍सायता‍मांगी‍जाती‍ै‍तो‍व‍र‍वष�‍दो‍समान‍हिकस्तों‍में‍जारी‍की‍जाएगी. अनावतU‍मदों‍के‍लिलए‍एकमुश्त‍अनुदान‍पली‍हिकस्त‍के‍साथ‍जारी‍हिकया‍जाएगा।‍

i. पली‍हिकस्त‍आमतौर‍पर‍परिरयोजना‍की‍स्वीकृहित‍के‍साथ‍जारी‍की‍जाएगी. हिTयान्वयन‍ऐजेंसी‍स्वाधार‍गृ‍पर‍इस‍आशय‍के‍नामपट्ट, हिक‍स्वाधार‍गृ‍भारत‍सरकार, महिला‍एवं‍बाल‍हिवकास‍मंत्रालय‍की‍सायता‍से‍चलाया‍जा‍रा‍ै, के‍दो‍रंगीन‍फोर्टो‍प्रस्तुत‍करेंगी।

ii. जब‍हिTयान्वयन‍ऐजेंसी‍य‍साक्ष्य‍प्रस्तुत‍कर‍देती‍ै‍हिक‍उसने‍पूव�‍हिकस्त‍का‍‍उपयोग‍उस‍प्रयोजन‍के‍लिलए‍कर‍लिलया‍ै‍जिजस‍प्रयोजन‍के‍लिलए‍व‍दी‍गई‍थी‍तो‍दूसरी‍और‍परवतU‍हिकस्त‍‍जारी‍कर‍दी‍जाएगी।‍दूसरी‍और‍उसके‍बाद‍की‍हिकस्त‍जारी‍करने‍के‍अनुरोध‍के‍साथ‍हिनम्नलिलखिखत‍प्रलेख‍संलग्न‍हिकए‍जाएगंे‍:

क. पूव�‍हिकस्त‍के‍उपयोग‍का‍प्रमाणपत्र‍और‍उपलिचत‍वास्तहिवक‍व्यय‍का‍अद्यतन‍समेहिकत‍हिववरण।ख. स्वाधार‍गृ‍की‍सामान्य‍स्‍थिxहित‍का‍उल्लेख‍करते‍हुए‍जिजला‍प्रशासन‍की‍हिनरीक्षण‍रिरपोर्ट�‍और‍वां‍Lरने‍वालों‍की‍

अनुमोठिदत‍संख्या‍की‍तुलना‍में‍हिनरीक्षण‍के‍समय‍उपस्‍थिxत‍पाए‍गए‍बच्चों‍की‍वास्तहिवक‍संख्या‍के‍अलग–अलग‍हिववरण‍के‍साथ‍रने‍वालों‍के‍ब्यौरे‍सहित‍स्वाधार‍गृ‍में‍उपलब्ध‍सुहिवधाए।ं

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ण. कें न्द्रीय‍सरकार‍द्वारा‍अनुदान‍जारी‍करना‍‍‍‍

राज्यों/संघ‍शालिसत‍प्रशासनों‍को‍हिनघिधया ं‍र‍वष�‍दो‍हिकस्तों‍म ें‍जारी‍की‍जाएगंी. राज्यों/संघ‍शालिसत‍प्रशासन‍को‍परिरचालनगत‍परिरयोजनाओं‍की‍संख्या, वष�‍के‍दौरान‍स्वीकृहित‍प्रदान‍की‍जाने‍वाली‍संभाहिवत‍नई‍परिरयोजनाओं‍और‍संसाधनों‍की‍उपलब्धता‍को‍ध्यान‍में‍रखते‍हुए‍आबंर्टन‍करने‍का‍हिनण�य‍हिकया‍जाएगा. आबंठिर्टत‍अनुदान‍की‍50% की‍रकम‍की‍पली‍हिकस्त‍हिवत्तीय‍वष�‍के‍प्रारम्भ‍में‍राज्यों/संघ‍शालिसत‍के्षत्रों‍के‍पास‍पले‍से‍ी‍उपलब्ध‍खच�‍न‍हुई‍रालिश‍की‍कर्टौहित‍करने‍के‍बाद‍जारी‍की‍जाएगी. जब‍पली‍हिकस्त‍की‍60%रालिश‍का‍उपयोग‍कर‍लिलया‍गया‍ो‍तो‍उसकी‍दूसरी‍हिकस्त‍जारी‍की‍जाएगी.राज्य‍सरकारों‍से‍अपेक्षा‍की‍जाती‍ै‍हिक‍महिला‍एवं‍बाल‍हिवकास‍मंत्रालय‍को‍छमाी‍हिववरण‍भेजें.

त. हिनगरानी‍योजना‍की‍मॉनीटरिरFग

जिजला‍स्तर‍पर‍मॉनीर्टरिरंग

योजना‍के‍तत‍xाहिपत‍सभी‍स्वाधार‍गृ, चाे‍नए‍हिनर्मिमंत‍ों‍अथवा‍हिकराए‍के‍परिरसर‍में‍या‍अन्य‍प्रकार‍से‍चल‍रे‍ों, की‍हिनगरानी‍उनके‍हिनबा�ध‍रूप‍से‍चलने, हिकसी‍अंतराल‍की‍पचान‍करने‍और‍तत्संबंध‍में‍उपाय‍करने‍ेतु‍ऐसे‍सुझाव‍देने‍जिजससे‍उनकी‍काय�‍प्रणाली‍बेतर‍ो‍सके, को‍सुहिनणि|त‍करने‍के‍उदे्दश्य‍से‍हिनम्नानुसार‍गठिLत‍सघिमहित‍द्वारा‍हिनरंतर‍की‍जाएगी‍:

क. जिजलाधीश अध्यक्षख. मुख्य‍लिचहिकत्सा‍अघिधकारी सदस्यग. पुलिलस‍अधीक्षक सदस्यघ. जिजला‍समाज‍कल्याण‍अघिधकारी/ अघिधकारी‍महिला‍और‍बाल‍कल्याण सदस्य

ङ. जिजला‍हिवघिधक‍सेवाए‍ंप्राघिधकरण‍प्रहितहिनघिध सदस्यच. नगर‍हिनगम/पंचायती‍राज‍संxा‍का‍प्रहितहिनघिध सदस्यछ. जिजलाधीश‍के‍हिववेकानुसार‍जिजले‍के‍अन्य‍प्रहितघि}त‍व्यलि� सदस्य

य‍सुहिनणि|त‍हिकया‍जाए‍हिक‍जिजला‍सघिमहित‍में‍दो‍महिला‍सदस्य‍ोने‍चाहिएं.सघिमहित‍की‍बैLक‍हितमाी‍में‍एक‍बार‍आयोजिजत‍की‍जाएगी.

प्रत्येक‍हिTयान्वयन‍ऐजेंसी‍स्वाधार‍गृ‍की‍हितमाी‍प्रगहित‍रिरपोर्ट� ‍हिनधा�रिरत‍प्रारूप‍म ें‍(क्यूपीआर), पुनवा�लिसत‍महिलाओं‍की‍सूची‍आठिद‍के‍साथ‍जिजला‍सघिमहित‍को‍भेजी‍जाएगी.

(ii) राज्य‍स्तर‍पर‍हिनगरानी

राज्यों/संघ‍शालिसत‍प्रशासनों‍के‍समाज‍कल्याण‍/ महिला‍और‍बाल‍हिवकास‍हिवभाग‍के‍प्रभारी‍‍सलिचव‍योजना‍के‍तत‍राज्यों/संघ‍शालिसत‍प्रशासन‍हिनगरानी‍सघिमहित‍के‍अध्यक्ष‍ोंगे।‍‍सलिचव‍द्वारा‍सघिमहित‍के‍अन्य‍सदस्यों‍को‍मनोनीत‍हिकया‍जाएगा. महिला‍एवं‍बाल‍हिवकास‍मंत्रालय‍(संबंघिधत‍ब्यूरो‍के‍संयु�‍सलिचव‍अथवा‍उनके/उसकी‍नाघिमहित) के‍प्रहितहिनघिध‍‍भी‍सघिमहित‍के‍सदस्य‍ोंगे. सघिमहित‍की‍बैLक‍साल‍में‍दो‍बार‍आयोजिजत‍की‍जाएगंी‍और‍परिरयोजनाओं‍पर‍हिनगरानी‍रखेंगी. राज्य/संघ‍शालिसत‍स्तरीय‍सघिमहित‍द्वारा‍यथा‍मूल्यांहिकत‍संतोषजनक‍काय�‍हिनष्पादन‍पर‍ी‍हिकसी‍ऐजेंसी‍को‍अनुदान‍‍जारी‍रना‍हिनभ�र‍करेगा‍।‍‍

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(iii) कें द्रीय‍स्तर‍पर‍हिनगरानी‍

महिला‍एवं‍बाल‍हिवकास‍मंत्रालय‍हिनयघिमत‍अंतराल‍पर‍राज्य‍सरकारों/कें द्रीय‍शालिसत‍प्रशासनों‍के‍साथ‍स्वाधार‍गृ‍की‍काय�‍प्रणाली‍की‍भी‍समीक्षा‍करेगा. जब‍कभी‍आवश्यकता‍मसूस‍ो, महिला‍एवं‍बाल‍हिवकास‍मंत्रालय‍के‍अघिधकारिरयों‍द्वारा‍परिरयोजनाओं‍का‍हिनरीक्षण‍हिकया‍जाएगा।‍इसके‍साथ‍ी, मंत्रालय‍वेब‍आधारिरत/आई‍र्टी‍समर्थिथंत‍हिनगरानी‍पद्धहित‍हिवकलिसत‍करने‍की‍संभावनाओं‍का‍पता‍लगाएगा.

�. योजना‍के‍मानदंडों‍‍का‍पालन‍न‍ोना‍और‍अन्य‍उल्लंघन

i. संघर्टक‍के‍प्रावधान‍में‍हिकसी‍प्रकार‍के‍उल्लंघन/अवेलना‍ोने‍के‍स्‍थिxहित‍में‍अथवा‍हिTयान्वयन‍ऐजेंसी/स्वाधार‍गृ‍के‍हिकसी‍भी‍समय‍बंद‍ो‍जाने‍पर‍सरकारी‍अनुदान‍से‍सृजिजत‍सभी‍आस्तिस्तयां‍भारत‍सरकार‍को‍वापस‍की‍जाएगंी‍अथवा‍समाहिवष्ट‍धनरालिश‍को‍हिTयान्वयन‍ऐजेंसी‍से‍भू-राजस्व‍के‍बकाया‍के‍रूप‍में‍वसूल‍हिकया‍जाएगा. इसके‍अहितरिर�, यठिद‍अपेणिक्षत‍हुआ‍तो‍संबंघिधत‍कानूनों‍के‍तत‍अपराघिधक‍कार�वाई‍की‍जाएगी.

ii. इसके‍अहितरिर�‍लिसहिवल‍सोसायर्टी‍गु्रप ‍/साव�जहिनक‍न्यासों ‍/हिनगघिमत‍हिनकायों‍द्वारा‍हिनघिधयों‍के‍गबन‍के‍मामले‍में‍राज्य‍सरकार‍संबंघिधत‍दोषी‍हिTयान्वयन‍ऐजेंसी‍के‍हिवरुद्ध‍एफआईआर‍दज�‍करके‍अपराघिधक‍कार्�वाई‍शुरू‍करेगी‍और‍अनुदान‍जारी‍करने‍से‍पले‍भरे‍जाने‍वाले‍बांड‍में‍यथाहिनधा�रिरत‍दंडात्मक‍ब्याज‍दर‍सहित‍अनुदान‍की‍वसूली‍करने‍के‍उदे्दश्य‍से‍सख्त‍कानूनी‍कार�वाई‍करेगी.

iii. हिTयान्वयन‍ऐजेंसी‍हिवत्तीय‍सायता‍का‍दुरूपयोग‍करती‍ै‍या‍स्वाधार‍गृ‍भवन‍का‍हिकसी‍अन्य‍प्रयोजन‍के‍लिलए‍गलत‍इस्तेमाल‍करती‍ै‍तो‍योजना‍के‍तत‍प्रदान‍हिकए‍अनुदान‍से‍सृजिजत‍स्वाधार‍गृ‍भवन‍और/अथवा‍आस्तिस्तयों‍का‍मंत्रालय‍या‍राज्य‍हिवभागों‍के‍माध्यम‍से‍भारत‍सरकार‍‍‍‍अघिधग्रण‍करने‍का‍पात्र‍ो‍सकता‍ै.

iv. योजना‍के‍प्रावधानों‍का‍बडा‍उल्लंघन‍जैसे‍प्रबंधन‍के‍सदस्य‍अथवा‍स्र्टाफ‍द्वारा‍रिरकाड�‍में‍जालसाजी, अवैध‍काय�कलाप‍के‍साथ-साथ‍स्वाधार‍गृ‍में‍रने‍वालों‍का‍यौन, मानलिसक, शारीरिरक‍‍शोषण‍आठिद‍ोने‍पर‍अनुदान‍को‍रोका‍और‍आपराघिधक‍कार�वाई‍हिबना‍हिकसी‍पूवा�ग्र‍के‍हिTयान्वयन‍ऐजेंसी‍को‍काली‍सूची‍में‍डाला‍जाएगा.

�. रूपांतरण‍प्रावधान

i. नए‍ठिदशाहिनदuश‍लागू‍ोने‍की‍तारीख‍से‍मौजूदा‍सभी‍स्वाधार‍गृ‍और‍अल्पावघिध‍हिनवास‍गृ‍का‍नामकरण‍स्वाधार‍गृ‍के‍रूप‍में‍परिरवर्तितंत‍ो‍जाएगा‍और‍वे‍नए‍ठिदशाहिनदuशों‍के‍अनुसार‍परिरचालिलत‍ोंगे. राज्य‍सरकारें‍/ कें द्र‍शालिसत‍प्रशासन‍इन‍गृों‍की‍जरूरत‍और‍काय�‍प्रणाली‍का‍मूल्यांकन‍कर‍सकते‍ैं‍और‍उनको‍जारी‍रखने‍या‍अन्य‍कोई‍कार्�वाई‍कर‍सकते ‍ैं.

ii. नए‍ठिदशाहिनदuशों‍के‍प्रारम्भ‍से‍पले‍की‍प्रहितबद्ध‍देयताए‍ंसंशोधनपूव�‍मानदंडों‍के‍अनुसार‍परिरकलिलत‍की‍जाएगंी‍और‍राज्य‍सरकार/संघ‍शालिसत‍प्रशासन‍की‍लिसफारिरश‍पर‍और‍हिTयान्वयन‍ऐजेंलिसयों‍द्वारा‍अपेणिक्षत‍प्रलेख‍की‍प्रस्तुहित‍हिकए‍जाने‍पर‍महिला‍एवं‍बाल‍हिवकास‍मंत्रालय‍द्वारा‍हिTयान्ववयन‍ऐजेंलिसयों‍को‍प्रहितपूरिरत‍की‍जाएगंी.

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द. साव0जहिनक‍‍जागरूकता‍बढ़ाना‍‍

राज्य‍सरकारों‍से‍अपेक्षा‍की‍जाती‍ै‍हिक‍स्वाधार‍गृ‍की‍उपलब्धता, लाभार्थिथंयों‍के‍लक्ष्य‍ग्रुप‍और‍उसके‍तत‍प्रदत्त‍सुहिवधाओं‍के‍बारे‍में‍जागरूकता‍बढाएं. प्रत्येक‍हिTयान्वयन‍ऐजेंसी‍भी‍हिवणिभन्न‍उपलब्ध‍साधनों‍के‍माध्यम‍से‍लोगों‍में‍स्वाधार‍गृ‍के‍संबंध‍में‍सूचना‍का‍प्रसार‍करेंगी.

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परिरभिशष्ट-Iस्‍वाधार‍गृ‍स्‍कीमआवेदन‍फाम�

भाग-क‍: संग�न‍

1. संगLन‍‍के‍प्रधान‍काया�लय‍का‍पूरा‍नाम‍व‍पताजिजला:राज्‍य:हिपन‍कोड:

2. दूरभाष‍संख्‍या‍(एसर्टीडी‍कोड‍सहित)3. फैक्‍स‍सं.4. क्‍या‍संगLन‍को, एनजीओ‍के‍उपहिनयमों‍के‍अंतग�त‍सरकारी‍

अनुदान‍प्राi‍त‍करने‍और‍महिलाओं‍के‍काय�Tम‍प्रस्‍ताहिवत‍परिरयोजना‍के्षत्र‍में‍काया�न्‍वयन‍करने‍की‍अनुमहित‍ै?

5. संगLन‍के‍उदे्दश्‍य6. संगLन‍का‍संणिक्षi‍त‍इहितास(केवल‍एक‍पैराग्राफ‍में)7. क्‍या‍भारतीय‍सोसयर्टी‍पंजीकरण‍अघिधहिनयम(1860 का‍

अघिधहिनयम‍XXI) के‍अंतग�त‍पंजीकृत‍ै? यठिद‍ां‍तो‍पंजीकरण‍संख्‍या‍और‍पंजीकरण‍की‍हितलिथ‍लिलखें।

8. क्‍या‍य‍संगLन‍अखिखल‍भारतीय‍स्‍तर‍का‍ै? यठिद‍ां‍तो‍राज्‍यीय‍शाखा‍सहित, हिवणिभन्‍न‍राज्‍यों‍में‍इसकी‍शाखाओं‍के‍पतों‍का(फोन‍तथा‍फैक्‍स‍नंबर‍सहित) हिववरण‍दें‍जो‍आश्रय‍गृ‍का‍प्रचालन‍करेगी।

9. क्‍या‍संगLन‍का‍काया�लय‍अपने‍भवन‍में‍स्‍थिxत‍ै‍या‍हिकराए‍के‍भवन‍में?

10. संगLन‍द्वारा‍हिपछले‍3 वषY‍के‍दौरान‍हिकए‍गए‍मुख्‍य‍कायY‍का‍हिववरण

हिTयाकलाप‍का‍नाम‍ सत्‍तिम्मलिलत‍हिकए‍गए व्‍ययपुरुष महिलाएं बच्‍चे

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11. संगLन‍का‍हिपछले‍3 वषY‍की‍हिवत्‍तीय‍स्‍थिxहित‍का‍सारांश:

(रुपए‍लाख‍में) वष� आय‍और‍व्‍यय‍का‍हिववरण प्राप्‍तिiत‍एवं‍भुगतान‍हिववरण अघिधशेष घार्टा

12. हिपछले‍3 वषY‍में‍कें द्र/राज्‍य‍सरकार‍‍व‍अन्‍य‍सरकारी‍एजेंलिसयों‍से‍प्राi‍त‍अनुदान‍का‍हिववरण: (रू. लाखों‍में)

स्‍वीकृहित‍आदेश‍संख्‍या

हितलिथ रालिश स्‍कीम हिनघिध‍प्रदाता‍एजेंसी‍का‍पता‍

13. हिपछले‍3 वषY‍के‍दौरान‍प्राi‍त‍हिवदेशी‍अंश‍:देश संगLन प्रयोजन रालिश

14. संगLन‍के‍काया�लय‍अघिधकारिरयों‍का‍हिववरण:Tम‍सं

नाम‍एवं‍‍पता पुरुष/महिला

आयु पद शैणिक्षक‍योग्‍यता

व्‍यवसाय वार्तिषंक‍आय

आधार‍संख्‍या

15. संगLन‍के‍कम�चारिरयों‍का‍हिववरण:Tम‍सं

नाम‍एवं‍पता पुरुष/महिला

आयु अंशकालिलक/पूण�कालिलक

शैणिक्षक‍योग्‍यता

पद वार्तिषंक‍आय

आधार‍संख्‍या

16.संगLन‍की‍प्रबंधन‍सघिमहित‍के‍सदस्‍यों‍का‍हिववरण:Tम‍सं

नाम‍एवं‍पता पुरुष/महिला

आयु शैणिक्षक‍योग्‍यता

व्‍यवसाय मालिसक‍‍आय

आधार‍संख्‍या

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भाग-ख‍–‍प्रस्‍ताव(i) हिनमा0ण‍अनुदान‍के‍लिलए‍

1. क्‍या‍स्‍वाधार‍गृ‍के‍हिनमा�ण‍के‍लिलए‍काया�न्‍वयन‍एजेंसी‍के‍पास‍भूघिम‍उपलब्‍ध‍ै‍? यठिद‍ां, तो‍उसका‍हिनम्‍न‍हिववरण‍दें‍:

क) i‍लॉर्ट‍नंबर/सवu‍नंबर‍ख) के्षत्रग) सड़कघ) अवस्‍थिस्‍थहितड.) ब्‍लॉक‍(खंड) च) जिजला, राज्‍य‍हिपन‍कोड‍

2. प्रस्‍ताहिवत‍भवन‍की‍क्षमता‍3. परिरयोजना‍आरंभ‍और‍पूरा‍करने‍की‍संभाहिवत‍हितलिथ‍4. प्रस्‍ताहिवत‍ॉस्‍र्टल ‍भवन‍का‍हिववरण ‍(पंजीकृत ‍वास्‍तुकार‍द्वारा‍प्रमाणिणत‍भूघिमगत‍योजना, भवन‍योजना‍तथा‍राज्‍य‍लोक‍

हिनमा�ण‍हिवभाग‍द्वारा‍प्रमाणिणत‍संरचनात्‍मक‍आकलन‍संलग्‍न‍हिकया‍जाए) के्षत्रीय‍मानक‍स्‍कीम‍के‍पैरा‍'ज' के‍अनुसार‍ोने‍चाहिए‍ं।‍

क) कुल‍कुसU‍माप‍(स्तिi‍लंथ‍एरिरया) छाठिदत‍(कवड�) के्षत्र‍ख) भवन‍की‍लागत‍का‍आकलन‍ग) हिनमा�ण‍हिववरण‍

तल‍का‍हिववरण आवास/कक्षों‍की‍संख्या

कमरों‍का‍माप के्षत्र‍वग0मीटर‍में कमरों‍की‍क्षमता कुल‍क्षमता

प्रथम‍हिद्वतीय‍तृतीय‍चतुथ�‍सामान्‍य‍सुहिवधाए‍ं

भोजन‍कक्ष‍रसोई‍घर‍भण्‍डार‍घर‍आगंतुक‍कक्ष‍बहुउदे्दश्‍यीय‍कक्ष‍रैज़ीडेंर्ट‍अधीक्षक‍कक्ष‍काया�लय‍स्‍नानागार‍एवं‍शौचालय‍अन्‍य‍सुहिवधाए‍ं

5. क्‍या‍इस‍परिरयोजना‍को‍हिकसी‍अन्‍य‍सरकारी‍या‍गैर-सरकारी‍एजेंसी‍से‍सायता‍घिमल‍री‍ै? यठिद‍ां, तो‍उसका‍नाम‍और‍प्रत्‍येक‍एजेंसी‍द्वारा‍दी‍जाने‍वाली‍प्रस्‍ताहिवत‍सायता‍का‍उल्‍लेख‍करें‍।‍

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6. व्‍यय‍हिववरण‍:

(क) परिरयोजना‍का‍कुल‍अनुमाहिनत‍व्‍यय‍(ख) अपेणिक्षत‍अनुदान‍रालिश‍(ग) संगLन‍द्वारा‍दी‍जाने‍वाली‍प्रस्‍ताहिवत‍रालिश‍‍

(ii) हिनर्मिमFत/हिकराए‍के‍भवन‍में‍आश्रय‍गृ‍चलाने‍के‍लिलए‍

1. प्रस्‍ताहिवत‍आश्रय‍गृ‍की‍अवस्‍थिस्‍थहित‍का‍पूरा‍पता‍: जिजला‍: ब्‍लॉक‍: हिपन‍कोड‍: दूरभाष‍सं. (एसर्टीडी‍कोड‍सहित);

2. क्‍या‍इसकी‍अवस्‍थिस्‍थहित‍जिजला‍मुख्‍यालय/ब्‍लॉक‍मुख्‍यालय/तसील‍मुख्‍यालय‍या‍गांव‍में‍ै‍:

3. आश्रय‍गृ‍के‍लिलए‍उपलब्‍ध‍भवन

कमरों‍की‍संख्‍या‍ कुल‍के्षत्र‍(वग0फुट) कमरा/कक्ष‍‍रसोई‍घर‍शौचालय‍भण्‍डार‍गृ‍बरामदा‍मनोरंजन‍कक्ष‍खुला‍क्षेत्र‍प्रलिशक्षण‍कक्ष‍कुल‍

4. क्‍या‍य‍भवन‍हिन:शुल्‍क‍ै‍: 5. यठिद‍नीं, तो‍भवन‍का‍प्रस्‍ताहिवत‍हिकराया‍(हिकराए‍के‍हिवलेख‍(डीड) की‍प्रहित‍संलग्‍न‍ै) :

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6. प्रस्‍ताहिवत‍लाभार्थिथंयों‍का‍वगUकरण‍:

समस्‍या‍का‍प्रकार‍ महिलाओं‍की‍संख्‍या‍(प्रस्‍ताहिवत‍लाभाथU) अवैध‍व्‍यापार‍से‍छुड़ाई‍गई‍महिलाए‍ंवैश्‍यालयों‍से‍बचाकर‍या‍भाग‍कर‍आई‍/बालिलकाए‍ंआश्रयीन‍हिवधवाए‍ंभूतपूव�‍महिला‍कैदी‍‍‍प्राकृहितक‍आपदाओं‍के‍कारण‍बेघर‍हुई‍महिलाए‍ंआतंकवादी‍हिंसा‍की‍लिशकार‍महिलाए‍ंपरिरत्‍यक्‍त‍महिलाए‍ंएचआईवी/एड्स‍से‍पीहिड़त‍महिलाए‍ंअन्‍य‍कुल‍

संगLन‍के‍सलिचव/अध्‍यक्ष‍के‍स्ताक्षर‍

हितलिथ:

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भाग-ग‍- स्‍वीकृहित-पूव0‍मूल्‍यांकन‍रिरपोट0‍ेतु‍प्रपत्र‍

(स्‍वीकृहित-पूव�‍मूल्‍यांकन, राज्‍य‍सरकार‍के‍द्वारा‍नाघिमत‍अघिधकारी‍द्वारा‍हिकया‍जाना‍चाहिए)

1 हिनरीक्षण‍अघिधकारी‍नाम, पदनाम‍और‍का‍पूरा‍पता‍ :

2 हिनरीक्षण‍की‍हितलिथ‍एवं‍समय‍ :

3 एनजीओ‍का‍नाम‍एवं‍पूरा‍डाक‍पता‍ :

4 क्‍या‍एनजीओ‍के‍नाम‍का‍बोड�‍प्रमुख‍रूप‍से‍प्रदर्थिशंत‍हिकया‍गया‍ै?

:

5 क्‍या‍आपने‍एनजीओ‍के‍मूल‍पंजीकरण‍प्रमाण‍पत्र‍का‍हिनरीक्षण‍हिकया‍ै‍और‍य‍संतोषजनक‍ै?

:

6 क्‍या‍प्रबंधन‍सघिमहित‍के‍सदस्‍य‍एक-दूसरे‍के‍प्रहित‍उत्‍तरदायी‍ैं? यठिद‍ां, तो‍सदस्‍यों‍के‍नाम‍और‍उनके‍संबंध‍‍

:

7 क्‍या‍ आपके ‍ एनजीओ ‍ के ‍काया�लय ‍ के ‍अघिधकारी ‍ हिकसी ‍अन्‍य‍एनजीओ‍से‍संबद्ध‍ैं? यठिद‍ां, तो‍एनजीओ‍के‍नाम‍(नामों) का‍उल्‍लेख‍करें‍।

:

8 क्‍या‍एनजीओ‍में, आवेदन‍फाम�‍में‍उल्‍लेखिखत‍स्‍र्टाफ‍तैनात‍ै? यठिद‍नीं, तो‍कृपया‍कमी‍की‍स्‍थिस्‍थहित‍‍बताए।ं‍‍‍

:

9 क्‍या‍ एनजीओ‍द्वारा ‍लेखा ‍परीणिक्षत‍खाताओं‍की ‍प्रस्‍तुत ‍की ‍गई‍प्रहितयां‍मूल‍प्रहितयों‍की‍सत्‍याहिपत‍प्रहितयां‍ैं?

:

10

एनजीओ‍का‍वत�मान‍बैंक‍अघिधशेष‍क्‍या‍ै? :

11

क्‍या‍एनजीओ‍के‍लेखा‍परीणिक्षत‍खाताओं‍में‍वर्णिणंत‍एनजीओ‍की‍पासबुक‍म ें‍उनकी‍हिवणिभन्‍न‍आय‍से‍संबंघिधत‍जमा‍प्रहिवखिष्‍र्टया ं‍उल्‍लेखिखत‍ैं? यठिद‍ां, तो‍पासबुक‍में, हिनम्‍नलिलखिखत‍आय‍से‍संबंघिधत‍हिकतनी‍रालिश‍जमा‍की‍गई‍ै‍‍

वष�‍ वष�‍ वष�‍क) चंदा‍: ख) सदस्‍यों‍द्वारा‍अनुदान‍: ग) सामानों‍से‍हिवTय‍: घ) काय�कलापों‍से‍आय‍: ड.) अनुदान‍: च) सदस्‍यों‍से‍ऋण‍:

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12 क्‍या‍लेखा‍परीणिक्षत‍खाताओं‍म ें‍प्रहिवखिष्‍र्टया ं‍सी‍नीं‍ैं, इस‍शंका‍का‍कारण‍बताए?ंकृपया‍हिवस्‍तारपूव�क‍बताए।ं‍

:

13 एनजीओ‍द्वारा‍आरंभ‍की‍गई‍काय�कलापों‍के‍नाम‍जिजनके‍साक्ष्‍य‍उपलब्‍ध‍थे‍ :

14 क्‍या‍एनजीओ‍द्वारा‍कोई‍काय�कलाप‍जारी‍ै? यठिद‍ां, तो‍उसका‍हिनरीक्षण‍करें‍तथा‍हिनष्‍पादन‍रिरपोर्ट�‍‍प्रस्‍तुत‍करें‍।

:

15 लेखा‍परीणिक्षत‍खाताओं‍और‍वार्तिषंक‍रिरपोर्ट� ‍में‍शाघिमल‍काय�कलापो‍के‍नाम‍का‍उल्‍लेख‍करें‍जिजनका‍कोई‍‍साक्ष्‍य‍उपलब्‍ध‍नीं‍ै‍।

:

16 तुलन‍पत्र‍में‍शाघिमल‍परिरसंपत्‍तित्‍तयों‍के‍नाम‍बताए‍ंजो‍व्‍यावारिरक/भौहितक‍जांच‍के‍लिलए‍उपलब्‍ध‍नीं‍ै‍।‍

:

17 क्‍या‍स्‍थानीय‍लोगों‍को‍एनजीओ‍और‍इसकी‍गहितहिवघिधयों‍की‍जानकारी‍ै? :

18 एनजीओ‍के‍बारे‍में‍लोगों‍की‍राय‍क्‍या‍ै? :

19 क्‍या‍आपको‍एनजीओ‍द्वारा‍हिनघिध‍के‍दुरुपयोग‍या‍लिशकायत‍की‍जानकारी‍प्राi‍त‍हुई‍ै? यठिद‍ां, तो‍कृपया‍हिववरण‍दें‍।‍

:

20 आपके‍हिवचार‍में‍क्‍या‍य‍एनजीओ‍आवेठिदत‍परिरयोजना‍को‍काया�प्‍तिन्‍वत‍करने‍में‍सक्षम‍ैं? कृपया‍कारण‍बताए‍ं।

:

21 क्‍या‍इस‍प्रस्‍ताहिवत‍परिरयोजना‍के्षत्र‍में, आपके‍हिवचार‍से‍‍परिरयोजना‍की‍वास्‍तहिवक‍आवश्‍यकता‍ै‍।‍कृपया‍कारण‍बताए‍ं।‍

:

22 क्‍या‍एनजीओ‍ने‍प्रस्‍ताहिवत‍लाभार्थिथंयों‍का‍हिववरण‍प्रस्‍तुत‍हिकया‍ै? यठिद‍ां, तो‍कृपया‍उनमें‍से‍कुछ‍से‍संपक� ‍करें‍और‍हिनम्‍न‍सूचना‍दें‍:

:

लाभाथU‍का‍नाम‍ क्‍या‍परिरयोजना‍के‍अंतग�त‍उसे‍वास्‍तहिवक‍तौर‍पर‍सायता‍देना‍आवश्‍यक‍ै‍‍

23 एनजीओ‍से‍संबद्ध‍कोई‍अन्‍य‍सूचना‍ :

मैंने‍स्‍वीकृहित-पूव�‍मूल्‍यांकन‍के‍लिलए‍ठिदशाहिनदuशों‍को‍पढ़‍लिलया‍ै‍।‍इस‍रिरपोर्ट�‍में‍तथ्‍यों‍से‍कोई‍खिखलवाड़‍नीं‍हिकया‍गया‍ै‍।‍

(स्‍ताक्षर)नाम‍:

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परिरभिशष्‍ट-।।‍भवन‍हिनमा0ण‍ेतु‍अनुदान‍स्‍वीकृहित‍के‍लिलए‍अपनाई‍जाने‍वाली‍प्रहिक्रया‍

काया�न्‍वयन‍एजेंलिसयों‍द्वारा‍अपने‍आवेदन‍हिनम्‍नलिलखिखत‍दस्‍तावेज़ों‍सहित‍प्रस्‍तुत‍हिकए‍जाएगें‍:

1) लोक‍हिनमा�ण‍हिवभाग/कोई‍अन्‍य‍सक्षम‍प्राघिधकरण/पंजीकृत‍वास्‍तुकार‍द्वारा‍प्रमाणिणत‍तथा‍व्‍यय‍का‍मदवार‍हिववरण‍देते‍हुए‍भवन‍के‍हिनमा�ण‍से‍संबंघिधत‍यथा-अनुमोठिदत‍हिवत्‍तीय‍आकलन‍।‍

2) पंजीकृत‍वास्‍तुकार‍द्वारा‍यथा‍प्रमाणिणत‍इस‍स्‍कीम‍के‍अंतग�त‍हिनधा�रिरत‍मानकों‍के‍अनुसार‍प्रस्‍ताहिवत‍स्‍वाधार‍गृ‍के‍भू-स्‍थल‍और‍भवन‍हिनमा�ण‍योजना‍की‍एक‍प्रहित‍।‍स्‍थानीय‍प्राघिधकारिरयों‍से‍इस‍आशय‍का‍प्रमाण‍पत्र‍हिक‍भवन‍योजना‍अनुमोठिदत‍ै‍और‍हिनमा�ण‍की‍अनुमहित‍दे‍दी‍गई‍ै, भी‍प्रस्‍तुत‍करना‍ोगा।‍

3) साव�जहिनक‍भूघिम‍ोने‍के‍कारण, हिनमा�णाधीन‍स्‍वाधार‍गृ‍ेतु‍भूखंड‍का‍दस्‍तावेज़ी‍प्रमाण‍।‍इस‍प्रयोजन‍के‍लिलए, जिजला‍कलैक्‍र्टर‍या‍इस‍काय� ‍के ‍ लिलए‍प्राघिधकृत‍हिकसी‍अन्‍य‍सरकारी ‍अघिधकारी ‍द्वारा ‍स्‍ताक्षरिरत‍भूस्‍वाघिमत्‍व ‍- स्‍थानांतरण/लीज़‍डीज‍संबंधी‍दस्‍तावेज़, आवेदन‍के‍साथ‍प्रस्‍तुत‍हिकए‍जाए‍ं।‍‍‍‍

राज्‍य‍सरकार‍द्वारा‍अनुपालना�0‍अन्‍य‍शत_‍:

1) भवन‍का‍हिनमा�ण‍राज्‍य‍सरकार‍द्वारा‍अनुमोठिदत‍योजना‍के‍अनुसार‍हिकया‍जाएगा‍।‍राज्‍य‍सरकार‍के‍अनुमोदन‍के‍हिबना‍योजना‍में‍कोई‍बदलाव‍नीं‍हिकया‍जा‍सकता‍।‍

2) तथाहिप, यठिद‍काया�न्‍वयन‍एजेंसी‍द्वारा‍कोई‍बदलाव‍आवश्‍यक‍समझा‍जाता‍ै‍और‍व‍राज्‍य‍सरकार‍के‍अनुकूल‍ो, तो‍उसकी‍अनुमहित‍दी‍जा‍सकती‍ ै‍।‍उसका‍पूण� ‍हिववरण‍भारत‍सरकार‍को‍प्रस्‍तुत‍हिकया‍जाए‍बशतu‍भवन‍हिनमा�ण‍से‍संबंघिधत‍उप‍ हिनयमों ‍के ‍ अंतग�त‍और‍ जिजला‍प्रशासन‍स े‍काया�न्‍वयन‍एजेंसी ‍द्वारा‍ अपेणिक्षत‍स्‍थानीय‍प्राघिधकारिरयों ‍का‍अनुमोदन‍प्राi‍त‍कर‍लिलया‍गया‍ो‍।‍काया�न्‍वयन‍एजेंसी‍य‍भी‍सुहिनस्‍थिश्‍चत‍करेगी‍हिक‍(लिलहिवंग) के्षत्र, हिनर्मिमंत‍क्षेत्र‍अथवा‍स्‍वाधार‍गृ‍की‍क्षमता‍में‍कोई‍कमी‍नीं‍की‍जाएगी‍।‍

3) इस‍स्‍कीम‍के‍अंतग�त‍भवन‍हिनमा�ण‍योजना‍में‍परिरवत�न‍के‍परिरणामस्‍वरूप‍कोई‍अहितरिरक्‍त‍हिवत्‍तीय‍दाघियत्‍व‍सरकार‍पर‍नीं‍डाला‍जाएगा‍न‍ी‍इस‍लागत‍में‍ोने‍वाली‍वृजिद्ध‍के‍कारण‍अहितरिर�‍हिवत्‍तीय‍सायता‍के‍पात्र‍ोंगे‍।‍

4) हिवस्‍तृत‍संरचनात्‍मक/हिवत्‍तीय‍आकलन‍में‍अपनाई‍गई‍दरें‍संबंघिधत‍राज्‍यों‍के‍लोक‍हिनमा�ण‍हिवभाग‍की‍दरों‍की‍अनुसूची‍से‍अघिधक‍नीं‍ोंगी‍और‍इस‍संबंध‍में‍राज्‍य‍के‍लोक‍हिनमा�ण‍हिवभाग‍के‍काय�पालक‍अणिभयंता‍द्वारा‍इस‍आशय‍का‍एक‍प्रमाण‍पत्र‍भी‍प्रस्‍तुत‍हिकया‍जाएगा‍।‍राज्‍य‍लोक‍हिनमा�ण‍हिवभाग/कें द्रीय‍लोक‍हिनमा�ण‍हिवभाग‍द्वारा‍लगाए‍गए‍जांच‍प्रभार/सैंरे्टज‍फीस‍इस‍स्‍कीम‍के‍अंतग�त‍सीमांहिकत‍अनुदान‍सायता‍प्राi‍त‍करने‍का‍आधार‍ोंगे‍।‍

5) भवन‍का‍हिनमा�ण‍यथासंभव‍शीघ्राहितशीघ्र‍हिकया‍जाएगा‍और‍हिकसी‍भी‍स्‍थिस्‍थहित‍में‍अनुदान‍की‍पली‍हिकस्‍त‍जारी‍ोने‍की‍हितलिथ‍से‍18 मीने‍से‍अघिधक‍नीं‍।‍

6) व्‍यय‍न‍हिकए‍गए‍अनुदान‍की‍रालिश‍राज्‍य‍सरकार‍को‍तुरंत‍लौर्टानी‍ोगी‍।‍7) सरकारी‍अनुदान‍से‍पूण�‍और‍आंलिशक‍रूप‍से‍प्राi‍त/अघिधग्रहित‍सभी‍परिरसंपत्‍तित्‍तयों‍का‍रिरकाड�, राज्‍य‍सरकारों/संघ‍शालिसत‍

प्रदेशों‍द्वारा‍रखा‍जाएगा‍।‍ऐसी‍परिरसंपत्‍तित्‍तयों‍को‍भारत‍सरकार‍की‍पूव�‍अनुमहित‍के‍हिबना‍न‍तो‍बेचा, ऋणग्रस्‍त‍अथवा‍उन‍प्रयोजनों‍से‍इतर‍अन्‍य‍प्रयोजनों‍के‍लिलए‍प्रयोग‍हिकया‍जाएगा‍जिजनके‍लिलए‍अनुदान‍रालिश‍प्रदान‍की‍गई‍थी‍।‍‍‍‍‍‍‍‍‍‍‍‍

परिरलिशष्ट-।।।‍

हिकराए‍के‍भवन‍में‍स्वाधार‍गृ‍ेतु‍अनुदान‍की‍स्वीकृहित‍के‍लिलए‍अनुपालन‍की‍जाने‍वाली‍प्रहिक्रया

हिTयान्वयन‍एजेंसी‍द्वारा‍आवेदन‍पत्र‍के‍साथ‍हिनम्नलिलखिखत‍प्रलेख‍प्रस्तुत‍हिकए‍जाएगंे‍:

1. एजेंसी/ स्वैस्‍थि�क‍संगLन/ संxा‍का‍वैध‍पंजीकरण‍प्रमाण‍पत्र‍अथवा‍उसके‍उदे्दश्य‍एवं‍काय�कलापों‍का‍संणिक्षiत‍हिववरण;

2. एजेंसी‍/संगLन‍/संxा‍का‍संघर्टन; 3. उसके‍प्रबंधन‍मण्डल‍का‍संघर्टन, उसके‍सदस्यों‍का‍नाम‍और‍उनके‍पैन‍काड�‍नम्बर‍के‍ब्यौरे‍/आधार‍संख्या‍दें: 4. हिवगत‍तीन‍वष�‍की‍वार्तिषंक‍रिरपोर्ट�।‍5. हिकराया‍अनुबंध‍की‍प्रहितलिलहिप: 6. राज्य‍पी‍ड्ब्ल्यू‍डी/ जिजला‍क्लेक्र्टर/ नगर‍पालिलका‍प्राघिधकारिरयों‍द्वारा‍हिवघिधवत‍जारी‍हिकराया‍मूल्यांकन‍प्रमाण‍पत्र‍की‍

प्रहितलिलहिप।‍7. कमरों‍की‍संख्या, माप‍आठिद‍के‍अनुसार‍स्वाधार‍गृ‍का‍ब्यौरा‍देते‍हुए‍साइर्ट‍iलान‍का‍ब्लू‍हिप्रंर्ट8. आवेदक‍की‍हिवत्तीय‍व्यवाय�ता‍और‍स्वाधार‍गृ‍की‍स्‍थिxरता‍का‍आकलन‍करने‍की‍दृघिष्ट‍स े‍एजेंसी/ स्वैस्‍थि�क‍

संगLन/ संxा‍हिवगत‍तीन‍वषY‍की‍प्राप्‍तिiतयां‍और‍व्यय‍का‍हिववरण‍एवं‍प्राघिधकृत‍लेखा‍परीक्षक/ सनदी‍लेखाकार‍द्वारा‍हिवघिधवत‍प्रमाणिणत‍हिवगत‍तीन‍वष�‍के‍तुलन‍पत्र‍की‍प्रहितयां।‍

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9. संबंघिधत‍नगर‍पालिलका‍प्राघिधकारी/पंचायती‍राज‍संxा‍आठिद‍से‍प्रस्ताहिवत‍परिरसर‍का‍स्वाधार‍गृ‍के‍रूप‍में‍उपयोग‍करने‍की‍उपयु�ता‍का‍प्रमाण‍पत्र।‍‍

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परिरभिशष्ट-IV

स्वाधार‍‍गृ‍की‍भत3‍नीहित, प्रदान‍की‍जाने‍वाली‍सेवाए‍ंऔर‍अभिभलेखों‍के‍रख-रखाव‍ेतु‍ठिदशा-हिनद̀श‍/अनुदेश‍

1. जब‍कोई‍महिला‍ऐसे‍स्वाधार‍गृ‍में‍या‍तो‍अपने‍आप‍आती‍ै‍या‍हिफर‍हिकसी‍के‍द्वारा‍भेजी‍जाती‍ै‍तो‍पला‍कदम‍उसकी‍सामाजिजक‍पृ}भूघिम‍को‍जानना, उसकी‍व्यथा‍के‍कारण‍और‍समस्या‍का‍समाधान‍करना‍ोगा।‍काउंसलर‍द्वारा‍हिवशेष‍साक्षात्‍कार‍और‍केस‍फाइल‍तैयार‍की‍जाएगी‍(जब‍तक‍म.बा.हिव.मंत्रा. द्वारा‍मानक‍संलेख‍तैयार‍और‍परिरचालिलत‍नीं‍ो‍जाता‍ै‍और‍उसे‍प्रारंणिभक‍आघात‍से‍उबारने‍में‍मदद‍करने‍के‍साथ-साथ‍पीहिडता‍‍की‍जरूरत‍के‍अनुसार‍स्वाधार‍गृ‍में‍उपलब्ध‍सेवाओं‍की‍उपयु�ता‍की‍पचान‍करनी‍ोगी।

2. काउंसलर/अधीक्षक‍द्वारा‍साक्षात्‍कार‍की‍पली‍कड़ी‍और‍समस्या‍के‍समाधान‍का‍प्राथघिमक‍चरण‍महिलाओं‍के‍पुनवा�स‍काय�Tम‍का‍हिनण�य‍लेन े‍ ‍में‍बहुत‍मत्वपूण�‍ै।‍यठिद‍समाधान‍करने‍में‍य‍देखा‍जाता‍ै‍हिक‍स्वाधार‍गृ‍में‍उपलब्ध‍सुहिवधाए‍ंपीहिडता‍की‍जरूरतों‍को‍पूरा‍करने‍के‍लिलए‍उपयु�‍ैं‍तो‍आवेदक‍को‍भतU‍और‍पुनवा�स‍की‍सुहिवधाए‍ंदी‍जा‍सकती‍ै।‍यठिद‍य‍पाया‍जाता‍ै‍हिक‍स्वाधार‍गृ‍द्वारा‍दी‍जा‍री‍सेवाए‍ंआवेदक‍की‍समस्या‍को‍हिनराकरण‍नीं‍कर‍पाएगंी‍तो‍व‍हिकसी‍अन्य‍समुदाय‍की‍उपयु�‍संxा‍को‍भेज‍दी‍जाएगी‍अथा�त‍अनैहितक‍व्यवसाय‍की‍पीहिडत‍महिलाओं‍को‍उज्ज्वला‍योजना‍के‍तत‍लाभ‍उLाना‍चाहिए।‍

3. महिला‍के‍आगमन‍पर‍उसके‍ब्यौरे‍जैसे‍–‍नाम, पता, आयु, बच्चे, यठिद‍कोई‍ों, के‍ब्यौरे, समस्या‍का‍हिववरण, स्रोत‍का‍संदभ�‍आठिद‍भतU‍रजिजस्र्टर‍में‍पंजीकृत‍की‍‍जाएगी।

4. प्रत्येक‍केस‍की‍अलग-अलग‍फाइल‍रखी‍जानी‍चाहिए‍और‍उसमें‍पूरे‍केस‍का‍रिरकाड�, सगे-संबंघिधयों‍के‍पते, संदर्णिभंत‍पत्र‍और‍अन्य‍पत्र‍/कोर्ट� ‍केस,पुलिलस‍से‍संबंघिधत‍रिरकाड�‍रखा‍जाए।‍प्रदत्त‍सायता‍का‍रिरकाड�‍जैसे‍हिवणिभन्न‍प्राघिधकारिरयों‍के‍साथ‍केस‍के‍लिसललिसले‍में‍आयोजिजत‍बैLकें ,स्वास्थ्य‍जांच‍आठिद‍भी‍रखा‍जाना‍चाहिए।‍ये‍केस‍फाइलें‍अद्यतन‍ों‍और‍सरकार‍के‍हिकसी‍अघिधकारी‍के‍हिनरीक्षण‍ेतु‍सदैव‍उपलब्ध‍रें।

5. केस‍फाइल‍में‍र‍री‍प्रत्येक‍महिला‍और‍उसके‍बच्चे‍(यठिद‍साथ‍ों) के‍पुनवा�स‍कार्�वाई‍की‍योजना‍और‍उनके‍पुनवा�स‍के‍लिलए‍हिकए‍गए‍उपाय‍भी‍शाघिमल‍हिकए‍जाने‍चाहिए।

6. स्वाधार‍गृ‍में‍भतU‍की‍गई‍प्रत्‍येक‍पीहिडता‍की‍सूचना‍24 घंरे्ट‍के‍भीतर‍नजदीकी‍पुलिलस‍थाने‍को‍भेजी‍जानी‍चाहिए‍और‍एफआईआर‍की‍पावती/प्रहितलिलहिप‍रिरकाड�‍में‍रखी‍जाए‍और‍इसी‍प्रकार‍हिकसी‍भी‍र‍री‍महिला‍की‍जाने‍की‍सूचना‍उसी‍पुलिलस‍स्रे्टशन‍को‍24 घंरे्ट‍के‍भीतर‍दी‍जानी‍चाहिए।

7. लाभाथU‍बच्चों‍के‍लिलए‍अलग‍केस‍रजिजस्र्टर‍रखा‍जाना‍ै‍जो‍उनको‍प्रदत्त‍सेवाओं‍और‍‍हिकए‍गए‍व्यय‍को‍दशा�येगा. 8. अगर‍कोई‍महिला‍अपना‍कोई‍मत्वपूण�‍सामान‍(सोना, चांदी,गने‍आठिद)लाती‍ै‍तो‍उसका‍‍ब्यौरा‍इस‍प्रयोजन‍ेतु‍

रखे‍रजिजस्र्टर‍में‍दज�‍ हिकया‍जाना‍चाहिए‍और‍हिनवासी‍अधीक्षक‍ ‍और‍ ‍उस‍महिला‍प्रहित‍स्ताक्षर‍हिकए‍जान े‍चाहिए।‍मत्वपूण�‍सामान‍को‍सेफ‍क्स्र््टडी‍में‍रखा‍जाना‍चाहिए‍और‍जब‍व‍संxा‍को‍छोड्ती‍ै‍तो‍उसके‍सुपुद� ‍हिकए‍जाने‍चहिए।‍

9. प्रत्येक‍महिला‍को‍फोर्टो‍पचान‍काड�‍ठिदया‍जाएगा, अगर‍महिला‍के‍पास‍आधार‍काड�‍नीं‍‍ै‍तो‍आधार‍काड�‍प्राiत‍करने‍के‍लिलए‍तत्काल‍कार�वाई‍की‍जानी‍चाहिए।‍

10. प्रत्येक‍महिला‍के‍स्वास्थ्य‍की‍जांच‍उसके‍प्रवेश‍हिकए‍जाने‍के‍तीन‍ठिदन‍के‍भीतर‍‍करायी‍जाएगी।‍संगLन‍द्वारा‍समीप‍के‍सरकारी‍अस्पताल ‍/हिडस्पेंसरी‍म ें‍स्वास्थ्य‍जांच‍की‍व्यवxा‍की‍जानी‍चाहिए।‍ऐसे‍मामले‍ जिजनको‍तत्काल‍लिचहिकत्सा‍करायी‍जानी‍अपेणिक्षत‍ो, को‍नजदीकी‍सरकारी‍अस्पताल‍में‍शीघ्रता‍से‍भेजा‍जाए।‍‍

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11. अगर‍य‍पता‍ै‍हिक‍हिनवासी‍एचआईवी‍/एआईडीएस‍से‍संTघिमत‍ै‍अथवा‍एचआईवी+ ै‍तो‍उसे‍नजदीकी‍सरकारी‍अस्पताल‍के‍वीसीर्टीसी‍कें द्र‍में‍परामश�‍और‍उपचार‍के‍लिलए‍भेजा‍जाना‍चाहिए।

12. प्रत्येक‍स्वाधार‍गृ‍में‍मेहिडकल‍हिकर्ट‍सहित‍पया�iत‍मेहिडकल‍सुहिवधाए‍ंरखी‍जानी‍चाहिए।‍मेहिडकल‍हिकर्ट‍में‍ओर्टीसी‍दवाईयां, बन�‍Tीम, रे्टप, घाव‍भरने‍के‍लिलए‍बैंडेज,स्ट्रीप‍,कैं ची‍आठिद‍शाघिमल‍ोनी‍चाहिए।‍

13. वां‍मनोरंजन‍और‍सामूहिक‍गहितहिवघिधयों‍के‍लिलए‍सुहिवधाए‍ंोनी‍चाहिए।‍अंदर‍और‍बार‍खेल-कूद‍की‍सुहिवधाए‍ंदी‍जानी‍चाहिए।‍सांस्कृहितक‍काय�Tम, भ्रमण, हिफल्म, हिपकहिनक‍और‍प्रदश�नी‍आठिद‍के‍लिलए‍मा‍में‍एक‍बार‍बार‍ले‍जाना‍चाहिए।‍स्वाधार‍गृ‍में‍र‍र े‍ ‍हिनवालिसयों‍की‍सहिTय‍भागीदारी‍से‍हिवणिभन्न‍धार्मिमंक‍त्यौारों, गणतंत्र‍ठिदवस, स्वतंत्रता‍ठिदवस‍और‍बच्चों‍के‍जन्म‍ठिदन‍आठिद‍भी‍मनाये‍जाने‍चाहिए।‍प्रत्येक‍स्वाधार‍गृ‍में‍हिनवालिसयों‍के‍लिलए‍रे्टलीहिवजन‍की‍व्यवxा‍ोनी‍चाहिए.

14. श्रम‍एवं‍रोजगार‍मंत्रालय‍अथवा‍कौशल‍हिवकास‍मंत्रालय‍की‍कौशल‍हिवकास‍पल ‍(एस‍डी‍आई) के‍माध्यम‍से‍हिनवालिसयों ‍को ‍व्यावसाघियक‍प्रलिशक्षण‍ देन े‍की ‍व्यवxा ‍करन े‍की ‍ जिजम्मेदारी ‍ हिTयान्वयन‍एजेंसी ‍की ‍ोगी। ‍प्रलिशक्षण‍पाठ्यTम‍पर‍हिकए‍गए‍‍वास्तहिवक‍व्यय‍के‍अनुसार‍शुल्क‍की‍रकम‍योजना‍के‍तत‍प्रहितपूर्तित‍ंदेय‍ै।‍

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परिरभिशष्ट-Vस्वाधार‍गृ‍योजना‍के‍अंतग0त‍‍स्‍वीकृत‍हिकराए‍के‍प्रयोजन‍ेतु‍शरों‍का‍वग3करण‍

Tम‍सं. राज्य‍ “क”‍के‍रूप‍में‍वगUकृत‍शर‍ “ख”‍के‍रूप‍में‍वगUकृत‍शर1 आंध्र‍प्रदेश‍ ैदराबाद‍(यूए) हिवजयवाडा‍(यूए), हिवशाखापट्टर््टनम

(यूए), गंूरू्टर‍2 असम‍ गुवाार्टी‍(यूए) 3 हिबार पर्टना‍(यूए) 4 चंडीगढ चंडीगढ5 छत्तीसगढ दुग�–णिभलाई‍नगर‍(यूए), रायपुर‍(यूए)6 ठिदल्ली ठिदल्ली‍(यूए)7 गुजरात अमदाबाद(यूए),राजकोर्ट(यूए),जामनगर‍(यूए),

भावनगर‍(यूए), वडोदरा‍(यूए), सूरत‍(यूए) 8 रिरयाणा फरीदाबाद‍‍9 जम्मू‍व‍कश्मीर‍ श्रीनगर‍(यूए),जम्मू‍(यूए)10 झारखण्ड‍ जमशेदपुर‍(यूए), धनबाद‍(यूए) , रांची(यूए)11 कना�र््टक‍ बेंगलूरू(यूए) बेलगाम ‍(यूए) , हुबली-धारवाड ‍, मैसूर ‍(यूए),

मंगलूर‍(यूए) 12 केरल‍ कोझीकोड ‍(यूए) ,कोच्ची ‍(यूए) ,

हितरूवनंतपुरम‍(यूए) 13 मध्य‍प्रदेश‍ ग्वालिलयर ‍(यूए) , इन्दौर ‍(यूए) ,

भोपाल(यूए) , जबलपुर‍(यूए) 14 माराष्ट्र‍ बृन‍मुंबई‍(यूए) अमरावती,नागपुर(यूए),औरंगाबाद(यूए) नालिसक‍

(यूए) , णिभवंडी(यूए) , पुण े‍(यूए) ,सोलापुर ‍, कोल्ापुर‍(यूए)

15 ओहिडसा‍ कर्टक‍(यूए), भुवनेश्वर‍(यूए)16 पंजाब अमृतसर ‍(यूए), जालंधर ‍(यूए), लुघिधयाना‍

(यूए) 17 पुद्दचेुरी‍ पुद्दचेुरी‍(यूए)18 राजxान बीकानेर‍, जयपुर‍,जोधपुर‍(यूए), कोर्टा‍(यूए) 19 तघिमलनाडु‍ चेन्‍नई‍(यूए) सेलम‍(यूए) हितरूपुर ‍(यूए) ,कोयम्बट्टूर‍(यूए),

हित्ररूलिचरापल्ली‍(यूए) , मदुरई‍(यूए)

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20 उत्तरखण्ड‍ देरादून‍(यूए)21 उत्तर‍प्रदेश मुरादाबाद, मेरL‍(यूए) , गाजिजयाबाद, अलीगढ,

आगरा(यूए) , बरेली‍(यूए) , लखनऊ‍(यूए) , कानपुर‍(यूए) इलााबाद‍(यूए), गोरखपुर‍(यूए) , वाराणसी‍(यूए)

22 पणि|म‍बंगाल‍‍ कोलकाता‍(यूए) आसनसोल‍(यूए) ठिर्टiपणी‍: हिवणिभन्न‍राज्यों/कें द्रशालिसत‍प्रदेशों‍के‍शेष‍शर‍/कस्बे/xान‍जिजनका‍उपरो�‍“क”‍अथवा‍“ख”‍में‍वगUकरण‍नीं‍हिकया‍गया‍ै, प्रयोजन‍ेतु‍“ग”‍में‍वगUकृत‍ैं।‍‍

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परिरभिशष्ट-VI

स्वाधार‍गृ‍मानीटरिरFग‍सूचक‍‍

मानव‍संसाधन‍

क्र. सं. नाम‍ पदनाम‍ योग्यताए‍ं अंशकालिलक/ पूण0‍कालिलक

इस‍परिरयोजना‍में‍कब‍से‍काय0रत‍ैं‍

1 2 3 4 5 6 7 8 9 10

संरचनात्मक‍स्‍थिbहित‍

क्रम‍सं. संकेतक‍ अभ्युलिd‍1 क्या‍परिरसर‍में‍गृ‍का‍‍नाम‍पट्ट‍प्रमुख‍‍xल‍पर‍प्रदर्थिशंत‍ै? 2 क्या‍आश्रय‍गृ‍सडक‍से‍आसानी‍से‍पहँुचने‍योग्य‍‍ै? 3 जिजला‍मुख्यालय‍से‍दूरी‍4 अस्पताल‍से‍दूरी5 प्राथघिमक‍हिवद्यालय‍से‍दूरी‍‍6 सैकेण्डरी‍या‍ाई‍स्कूल‍से‍दूरी‍7 पुलिलस‍स्रे्टशन‍से‍दूरी‍8 न्यायालय‍से‍दूरी‍

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स्‍�ान‍

क्रम‍सं. संकेतक‍ अभ्युलिd‍1 कमरों‍की‍कुल‍संख्या‍‍और‍उनकी‍सफाई‍2 काया�लय/प्रशासहिनक‍काय�‍प्रयोग‍ेतु‍कमरों‍की‍संख्या‍‍3 परामश�‍के‍लिलए‍अलग‍कमरे‍की‍उपलब्धता‍ ां‍/ नीं‍4 शौचालयों‍की‍संख्या‍और‍उनकी‍सफाई‍5 स्नानघर‍की‍संख्या‍और‍उनकी‍सफाई‍6 रसोई‍कमरा‍और‍उसकी‍सफाई‍7 मनोरंजन‍गहितहिवघिधयों‍/सभा‍के‍लिलए‍अलग‍जग‍की‍उपलब्धता‍ ां‍/ नीं8 व्यावसाघियक ‍ प्रलिशक्षण/लिशक्षा/आठिद ‍ के ‍ लिलए ‍ अलग ‍ जग ‍ की‍

उपलब्धता‍ ां‍/ नीं

9 क्या‍लाभार्थिथंयों‍के‍लिलए‍परिरसर‍सकुशल‍व‍‍सुरणिक्षत‍ै? ां‍/ नीं, यठिद‍नीं‍,कृपया‍स्पष्ट‍करें. 10 क्या‍परिरसर‍में‍आगंतुकों‍के‍लिलए‍अलग‍कमरा‍ै? ां‍/ नीं11 परिरसर‍का‍लगभग‍एरिरया‍‍ ........................ वग�‍फुर्ट‍

परिरसम्पलिfयां

क्रम‍सं. संकेतक‍ अभ्युलिd‍1 हिबस्तरों‍की‍संख्या‍और‍उनकी‍स्‍थिxहित‍2 गद्दों‍की‍संख्या‍और‍उनकी‍स्‍थिxहित‍3 क्या‍संगLन‍ने‍‍सम्पणित्त‍रजिजस्र्टर‍रखा‍ै. ां/नीं‍4 क्या‍खरीदीं‍गईं‍‍सम्पणित्तयां‍रजिजस्र्टर‍में‍दज�‍की‍जाती‍ैं? ां/नीं‍5 क्या‍संगLन‍ने‍स्र्टाफ‍के‍लिलए‍उपस्‍थिxहित‍रजिजस्र्टर‍बना‍रखा‍ै? ां/नीं‍

हिनरीक्षण‍के‍समय‍गृ‍में‍उपस्‍थिbत‍लाभार्थि�Fयों‍की‍संख्या‍:

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बुहिनयादी‍सुहिवधाए‍ं

क्रम‍संख्या‍ संकेतक‍ अभ्युलिd‍1. क्या‍लाभार्थिथंयों‍के‍लिलए‍भोजन‍की‍हिवशेष‍भोजन-सूची‍ै‍? 2. यठिद‍ां, तो‍क्या‍भोजन‍सूची‍का‍पालन‍हिकया‍जाता‍ै‍3. भोजन-सूची‍कौन‍तैयार‍करता‍ै? 4. भोजन-सूची‍में‍परिरवत�न‍की‍क्या‍आवघिधकता‍ै?

(एक‍सiता/एक‍पखवाडा‍/एक‍मा/ तीन‍मा‍या‍अघिधक)

कपडे‍एवं‍स्वच्छता‍‍

क्रम‍संख्या‍ संकेतक‍ अभ्युलिd‍1. क्या‍लाभार्थिथंयों‍को‍कपड़े‍और‍प्रसाधन‍सामग्री‍प्रदान‍हिकया‍जाता‍

ै?

केस‍प्रबंधन‍

क्रम‍संख्या‍ संकेतक‍ अभ्युलिd‍1. क्या‍संगLन‍में‍लाभार्थिथंयों‍का‍भतU‍रजिजस्र्टर‍रखा‍जाता‍ै? 2. क्या‍संगLन‍में‍लाभार्थिथंयों‍का‍उपस्‍थिxहित‍रजिजस्र्टर‍रखा‍जाता‍ै? 3. क्या‍संगLन‍में‍लाभार्थिथंयों‍की‍अलग‍केस‍फाइल‍‍रखी‍जाती‍ै? 4. क्या‍संगLन‍में‍लाभार्थिथंयों‍की‍हिवस्तृत‍केस‍इहितास‍की‍व्यलि�गत‍

फाइलें‍रखी‍जाती‍‍ैं? 5. क्या‍केस‍फाइलें‍‍समय-समय‍पर‍अद्यतन‍की‍‍जाती‍‍ैं‍? 6. कृपया‍उन‍फाइलों‍संख्या‍और‍लाभार्थिथंयों‍के‍नाम‍का‍उल्लेख‍करें‍

जिजनकी‍फाइलों‍की‍आपने‍जांच‍की‍ैं.

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व्यावसामियक‍प्रभिशक्षण‍और‍आय‍सृजिजत‍काय0कलाप‍

क्रमसं.

केस‍फाइल‍सं.

लाभार्थि�Fयों‍का‍नाम

व्यावसामियक‍प्रभिशक्षण आय ‍ सृजिजत ‍ काय0-कलाप

प्रभिशक्षणदाता व्यवसाय‍ प्रारम्भ‍करने‍की‍तारीख

समाप्तिmत‍की‍तारीख

व्यवसाय‍ सायता‍रकम, यठिद ‍कोई‍ो‍

1. 2.3. 4.5.6.7.8.9.10.

हिवगत‍06 मा‍के‍दौरान‍गृ‍से‍बार‍गए‍लाभार्थि�Fयों‍की‍कुल‍संख्या‍

अन्य‍गृ‍को‍xानांतरिरत‍परिरवार‍से‍घिमलाए‍गएगृ‍राज्य‍को‍xानांतरिरत‍स्व‍हिनयोजिजत‍/ नौकरी‍लगना‍भगौडा‍/गुम‍ोना‍मृत्यु‍अन्य‍(कृपया‍स्पष्ट‍करें‍) कुल‍

हिनरीक्षणकता0‍अलिधकारी‍द्वारा‍गृ‍का‍समग्र‍मूल्यांकन

आश्रय‍गृ‍में‍स्र्टॉफ‍की‍गुणवत्ता‍और‍उनका‍लाभार्थिथंयों‍के‍प्रहित‍व्यवार‍लाभार्थिथंयों‍को‍संxा‍द्वारा‍प्रदत्त‍सुहिवधाओं‍(संरचना, जग) की‍गुणवत्ता‍लाभार्थिथंयों‍के‍लिलए‍सेवाओं‍(भोजन/कपडे/ लिचहिकत्सा/परामश�/आठिद) की‍गुणवत्ता‍ध्यान‍में‍आई‍कघिमयां।‍