1949 1961 60 1974 · संबंध को साझा कर रहे ह ।...

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भारत- तगाल संबंध भारत का सबंध प तगाल के साथ लगातार मैीप ण गाढ़ एवं तनावम बने ह ए ह�। भारत और प तगाल के बीच राजन�यक संबंध� कथापना 1949 म� ह ई थी परत गोवा पर चल रहे समझौता वाता क� समया हो गयी थी। 1961 म� गोवा म त हो गया था। 60व� दशक क� अव �ध और 1974 1974 तक प तगाल के वदेशी लोकतं और �वदेशी उप�नवेशीय सता कसमाित के �लए लगातार बढ़ते ह ए सशत आदोलन जार� थे और यह आदोलन भारत के साथ एक सं�ध पर हता�र तक क� ऊँचाईय� पर पह चा था 1974 म� �कया था िजसके बाद दोन� देश� के राजद तावास खोले गये थे। संबंध को साझा कर रहे ह�। प तगाल लगातार भारत का समथन बह प�ीय मंचपर करता आ रहा है िजसम� संय त रा स र�ा प�रषद म� एक थायी 12 क� अव �ध के �लए भारत क� एक अथायी सदयता का भी समथन �कया है अंतक सदय है। भारत और प तगाल के बीच सहयोग इस तय का सा�ी रहा है �क प तगाल अब सल�म के यापण पर भी सहमत हो गया था। प तगाल रोपीय संघ का थम रा है जो यापण पर सहमत ह आ है। राजनै�तक संबंध राजनै�तक संबंध� को उच तर�य यााओं के आदान दान से प : ताकत एवं प टता ात ह ई है। राप�त ी कवाको �सवा भारत क� याा पर तगी अय�ता क� अव �ध म� नई �दल� म� आयोिजत 8व� भारत- रोपीय संघ

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  • भारत-पुतर्गाल संबंध

    भारत का सम् बधं पुतर्गाल के साथ लगातार मैत्रीपूणर् प्रगाढ़ एवं तनावमुक् त बने हुए ह�। भारत और पुतर्गाल के बीच राजन�यक संबंध� क� स् थापना 1949 म� हुई थी परन् तु गोवा पर चल रहे समझौता वातार् क� समस् या हो गयी थी। 1961 म� गोवा मुक् त हो गया था। 60व� दशक क� अव�ध और 1974 1974 तक पुतर्गाल के स् वदेशी लोकतंत्र और �वदेशी उप�नवेशीय सत् ता क� समािप्त के �लए लगातार बढ़ते हुए सशक् त आन् दोलन जार� थे और यह आन्दोलन भारत के साथ एक सं�ध पर हस् ता�र तक क� ऊँचाईय� पर पहँुचा था 1974 म� �कया था िजसके बाद दोन� देश� के राजदतूावास खोले गये थे।

    संबंध को साझा कर रहे ह�। पुतर्गाल लगातार भारत का समथर्न बहुप�ीय मंच� पर करता आ रहा है िजसम� संयुक् त राष् ट्र सुर�ा प�रषद म� एक स् थायी 12 क� अव�ध के �लए भारत क� एक अस् थायी सदस् यता का भी समथर्न �कया है अंतक सदस् य है। भारत और पुतर्गाल के बीच सहयोग इस तथ् य का सा�ी रहा है �क पतुर्गाल अबू सल�म के प्रत् यापर्ण पर भी सहमत हो गया था। पुतर्गाल यूरोपीय संघ का प्रथम राष् ट्र है जो प्रत् यापर्ण पर सहमत हुआ है।

    राजनै�तक संबंध

    राजनै�तक संबंध� को उच् च स् तर�य यात्राओं के आदान प्रदान से पुन:

    ताकत एवं पुष् टता प्राप् त हुई है। राष् ट्रप�त श्री कवाको �सल् वा भारत क� यात्रा पर पुतर्गी अध् य�ता क� अव�ध म� नई �दल् ल� म� आयोिजत 8व� भारत-यूरोपीय संघ

  • आये थे। डॉ0 मै�रयो सोरेस प्रधान मंत्री के रूप म� दो बार भारत क� यात्रा पर एक बार पूवर् प्रधान मंत्री श्रीमती इं�दरा गांधी के अं�तम संस् कार म� भाग लेने के अ�त�थ के रूप म� आये थे। भारतीय प� से प्रधान मंत्री श्री अटल �बहार� वाजपेयी �लस् बन म� आयोिजत प्रथम भारत-पुतर्गाल �शखर सम् मेलन म� भाग लेने नारायणन पुतर्गाल क� यात्रा पर 1998 म� तथा राष् ट्रप�त श्री व�केटरमण 1990 म� गये थे। पुतर्गाल के माननीय �वदेश मंत्री डॉ. पाउलो पोटार्ज भारत क� यात्रा पर माचर्- 2013 म� आये थे। (कृपया अन्य उच्च-स्तर�य यात्राओं के �लए संलग्नक देख�)।

    भारत कुछ देश� म� से एक है िजसके साथ पुतर्गाल ने ‘‘संसद�य मैत्री

    समूह’’ का गठन �कया है प्रत् यूत् तर म� भारत ने भी उसी प्रकार के एक समूह का गठन सभी राजनै�तक दल� क� सदस् यता के साथ एक मैत्री समूह का गठन �कया है। पुतर्गाल के साथ संसद�य आदान प्रदान� क� भी परम् परा बनी हुई है और पुतर्गाल से वहां के संसद के अध् य� डॉ0 अंटो�नयो ड ेअलमे�डया सैटोस के नेतृत् व म� 9 सदस् यीय एक संसद�य समूह प्रथम बार भारत क� यात्रा पर 1999 म� आया था उसके बाद पुतर्गाल संसद के अध् य� डॉ0 जोआवो बोस् को मोटा अमारल के नेतृत् व म� 4 सदस् यीय एक अन् य प्र�त�न�ध मण् डल भारत क� यात्रा अध् य� माननीय श्री मनोहर जोशी के नेतृत् व म� 12 सदस् यीय एक संसद�य पुतर्गाल क� यात्रा पर गया था और संसद�य कायर् तथा सूचना एवं प्रसारण मंत्री श्री �प्रयरंजन दास मंुशी के नेतृत् व म� 16 सदस् यीय एक संसद�य सद्भावना

    वा�णिज्यक सम्बंध समझौते पर हस् ता�र �कये जाने के बाद द्�वप�ीय व् यापार सम् बंध� के सुधार को

  • एक नयी प्रेरणा �मल� है। व् यापार पर एक श्रृंखलाबद्ध समझौते हुए ह� जैसे �फक् क� और पुतर्गीज �वदेश व् यापार एवं �नवेश संस् थान (आई सी ई पी) के बीच बीच द्�वप�ीय सहयोग पर समझौता 1992 म� भारत के भारतीय उद्योग (सी आई आई) और पुतर्गीज औद्यो�गक संघ (एक आई पी) के बीच सहयोग वा�णज् य के �वस् तार को और आगे बढ़ाने के �लए �कये गये थे।

    द्�वप�ीय �वगत कुछ वष� से लगातार बढ़ रहा है परन्तु �मता से �मता

    और �वक�सत जगत म� बने रहे आ�थर्क संकट के कारण पुतर्गाल ने भारत स�हत स�हत �वकासशील देश� क� ओर उत्तरोत्तर देखना शुरू कर �दया था। इसके अ�त�रक्त व्यवसा�यक नेतृत्व क� नई एवं युवा पीढ़� के साथ आ�थर्क एव ंसिम्म�लत ह�। यद्य�प व्यापार व्यापक रूप से भारत के प� म� बना रहा है परन्तु वैिश्वक आ�थर्क एवं �वत्तीय संकट के कारण द्�वप�ीय व्यापार म� एक �गरावट आयी है।

    भारत-पुतर्गाल व्यापार (माल� क� सेवाय�) सांख्यक� (भारतीय �नयार्त एवं आयात �म�लयन यूरो म�)

    2009 2010 2011 2012

    �नयार्त 366.161 286.03 417.05 475.28

    आयात 113.135 59.03 70.84 107.55

    स्रोत: ए आई सी ई पी – पुतर्गाल� �नवेश आ�थर्क संवधर्न अ�भकरण �व�ान एवं प्रौद्यो�गक� :

  • थे। �व�ान एवं प्रौद्यो�गक� समझौते के अंतगर्त वतर्मान सहयोग कायर्क्रम

    2010-12 लगातार स�क्रय भागीदार बना हुआ है और �व�ान अनुसंधान �ेत्र को

    �वस् तार दे रहा है िजसके प�र�ध म� 60 संयुक् त प�रयोजनाय� वतर्मान म� चल रह�

    रह� ह�।

    सांस् कृ�तक दल

    अ�धक संख् या म� �वद्यमान भारतीय समूदाय पुतर्गाल के साथ सांस् कृ�तक संबंध� म� योगदान करना है जो लगातार सशक् त एवं सतत बना हुआ है। एक सांस् कृ�तक सहयोग समझौते पर हस् ता�र 1980 म� �कये गये थे िजसके अंतगर्त अंतगर्त अनेक� सांस् कृ�तक आदान प्रदान कायर्क्रम� (सी ई पीज) का �क्रयान् वयन क� �मता �वद्यमान है।

    भारतीय समुदाय

    पूतर्गाल क� 10 �म�लयन क� जनसंख्या म� भारतीय समुदाय क� संख्या लगभग 70,000 होने का अनुमान है िजसम� 5000 भारतीय नाग�रक सिम्म�लत ह�। यूरोप म� भारतीय मूल के लोग� क� जनसंख्या यू. के. एवं नीदरलैण्ड के बाद ततृीय �वशालतम ्जनसंख्या है। भारत के साथ पुतर्गाल के ऐ�तहा�सक सम्बंध होने के कारण पुतर्गाल म� भारतीय समुदाय को एक �वशषे स्थान प्राप्त है। गोवा मुिक्त के पश्चात ्एक घो�षत प्रवाह म� हुआ था। पुतर्गाल म� आने वाले भारतीय� के द्�वतीय प्रवाह म� अ�धकाँश पुतर्गाल के अफ्र�क� उप�नवेश �वशषे रूप उप�नवेश क� समािप्त के प्रारिम्भक वष� म� आये थे।

    पुतर्गाल से हुई हाल क� मंत्री स् तर�य यात्राय�

  • अंतरार्ष् ट्र�य नवीकरणीय ऊजार् सम् मेलन (डी आई आर ई सी) म� भाग लेने के �लए भारत आये थे।

    2011 क� अव�ध म� आयोिजत 11व� �दल्ल� सतत �वकास �शखर सम् मेलन म� म� भाग लेने के �लए।

    भारतीय प� से

    2007 क� अव�ध म� गये थे।

    • श्री श�श थरुर राज् य मंत्री के रूप म� सी ओ डी मंत्री स् तर�य बैठक म� भाग

    • गोवा के मुख् य मंत्री श्री �दगम् बर कामत पुतर्गाल क� यात्रा पर 4 से 6

    • प्रवासी भारतीय कायर् मंत्री श्री वायलर र�व पुतर्गाल यात्रा पर 9 से 11

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    जुलाई 2013