थापत (pmndp) करे गा के तहत पेरटोनयल ......ल ग ।...

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  • 24 अ�टूबर 2019 - समाचार �व�लेषण सामा�य अ�ययन ��न प� 2 से संबं�धत : राज�यव�था और शासन : क� � PMNDP के तहत पे�रटो�नयल डाय�ल�सस सेवाओ ंको �था�पत करेगा : �संग : • �वा��य मं�ालय ने �धानमं�ी रा���य डाय�ल�सस काय��म (PMNDP) के तहत पे�रटो�नयल डाय�ल�सस सेवाओ ंक� �थापना के �लए �दशा�नद�श जार� �कए ह�। �ववरण : • ये �दशा�नद�श रा���य �वा��य �णाल� संसाधन क� � और एक �वशषे� स�म�त �वारा समि�वत एक �यापक परामश� ���या के बाद तयैार �कए गए थे। • �दशा�नद�श� का उ�दे�य घर-आधा�रत पे�रटो�नयल डाय�ल�सस (home-based peritoneal dialysis) के �लए रोगी क� पहंुच को सगुम बनना, देखभाल क� सम� लागत को कम करना और �िै�टस, म�ूय �नधा�रण और उ�पाद उपल�धता क� एक परू� �ृंखला को लाना है। • �दशा�नद�श सामदुा�यक �वा��य काय�कता�ओ ंको ��श�ण �दान करने क� भी प�रक�पना करता है जो घर या �ाथ�मक �वा��य देखभाल समहू� पर पे�रटो�नयल डाय�ल�सस के �लए �यि�तय� को सहायता �दान करत ेह�। • मं�ालय ने सभी रा�य� से उनक� संबं�धत काय��म काया��वयन योजनाओ ंके तहत पे�रटो�नयल डाय�ल�सस क� �थापना के ��ताव� को शा�मल करने का अनरुोध �कया है। डाय�ल�सस के दो म�ुय �कार ह�- 1) हेमोडाय�ल�सस और, 2) पे�रटो�नयल डाय�ल�सस। 1. हेमोडाय�ल�सस (HD, िजसे आमतौर पर �लड डाय�ल�सस के �प म� जाना जाता है) : • HD म� र�त को एक मशीन के मा�यम से �व�छ/�फ़�टर �कया जाता है जो �क कृ��म �कडनी क� तरह काय� करता है तथा र�त को शर�र म� वापस लौटा देता है। • HD को एक �था�पत डाय�ल�सस क� � म� �कया जाता है। • आमतौर पर इसक� आव�यकता एक स�ताह म� लगभग तीन बार होती है। • हर बार डाय�ल�सस म� लगभग तीन से चार घंटे का समय लगता ह�। 2. पे�रटो�नयल डाय�ल�सस (PD, िजसे आमतौर पर वाटर डाय�ल�सस के �प म� जाना जाता है) : • PD म� र�त को शर�र से हटाए �बना �व�छ/�फ़�टर �कया जाता है।

  • • इसम� पेट क� थलै� (परत) एक �ाकृ�तक छलनी/�फ�टर के �प म� काय� करती है। • समाधान (म�ुयत: नमक और शक� रा से बना होता है) को पेट म� �वा�हत �कया जाता है। यह �फ��ेशन को �ो�सा�हत करता है जो �क अप�श�ट को र�त से समाधान म� �थानांत�रत करता है। • PD दो �कार का होता ह�- कंट��यअूस ए�बलेुटर� पेर�टो�नयल डाय�ल�सस (CAPD) और ऑटोम�टेड पेर�टो�नयल डाय�ल�सस (APD)। • CAPD को एक �दन म� तीन से पांच बार �कया जाता है, ले�कन इसम� मशीन क� आव�यकता नह�ं होती है। APD म� �वच�लत साइ�लर मशीन का उपयोग �कया जाता है। यह उपचार तब �कया जाता है जब रोगी सो जाता है, इसे तीन से पांच बार �कया जाता है। �धानमं�ी रा���य डाय�ल�सस काय��म (PMNDP) : • गर�ब� को म�ुत डाय�ल�सस सेवाएं �दान करने के उ�दे�य से इसे रा���य �वा��य �मशन (NHM) के �ह�से के �प म� 2016 म� �धान मं�ी रा���य डाय�ल�सस काय��म श�ु �कया गया था। • इस काय��म का म�ुय उ�दे�य �कडनी संबं�धत रोग� से ��त रो�गय� को डाय�ल�सस क� सरल तथा सहज स�ुवधाएँ �दान करके उनके शर�र को �व�थ बनाना है। • �धानमं�ी रा���य डाय�ल�सस काय��म के �दशा�नद�श PPP (पि�लक-�ाइवेट पाट�नर�शप) मोड म� NHM के तहत डाय�ल�सस सेवाओ ंके �ावधान क� प�रक�पना करत ेह�। • वत�मान म�, गर�बी रेखा से नीचे (BPL) आ�थ�क समहू के रो�गय� के �लए 100% सेवा ���या श�ुक NHM के तहत कवर �कया जाता है। सामा�य अ�ययन ��न प� 2 से संबं�धत : अतंरा����य संबंध : हांगकांग ने आ�धका�रक तौर पर ��यप�ण �वधेयक को वापस �लया : �संग : • हांगकांग क� �वधा�यका ने औपचा�रक �प से �नयोिजत ��यप�ण �वधेयक को वापस ले �लया है। इस काननू के अनसुार अगर कोई �यि�त अपराध करके हांगकांग आ जाता है तो उसे जांच ���या म� शा�मल होने के �लए चीन भेज �दया जाएगा। NOTE : 5 �सतंबर 2019 और 17 जनू 2019 के �यापक समाचार �व�लेषण म� इस म�ुदे को कवर �कया गया है। कृपया इस म�ुदे को वहां से पढ़�। सामा�य अ�ययन ��न प� 3 से संबं�धत : �व�ान और तकनीक : गूगल ने हा�सल �कया �वांटम सपुरमेसी :

  • �संग : • �द�गज टे�नोलॉजी फम� गूगल के व�ैा�नक� ने दावा �कया है �क कंपनी ने �वांटम सपुरमेसी हा�सल कर ल� है। �ववरण : • गूगल के व�ैा�नक� ने साइकामोर नाम से ऐसी मशीन तयैार क� है, जो असंभव सी लगने वाल� ग�त से गणनाएं करने म� स�म है। • गूगल क� साइकामोर (Sycamore) मशीन पर काम करने वाले �वशषे�� क� ट�म ने कहा �क द�ुनया का मौजदूा सबसे तजे सपुर कं�यटूर िजस काम को करने म� 10 हजार साल लेता है उसे करने म� ये नई �चप �सफ� 200 सेक� ड लेगी। • य�द यह स�या�पत होती है और इसका इ�तमेाल �कया जाता है, तो गूगल भ�व�य म� द�ुनया का सबसे शि�तशाल� सपुर कं�यटूर भी बना सकता है जो ��त सेकंड हजार� खरब� गणना करने म� स�म होगा। �या है �वांटम सपुरमेसी? • �वांटम सपुरमेसी एक तरह क� �मता है जो ऐसे सम�याओ ंका हल �नकाल सकती है जो साधारण कं�यटूर के बस का नह�ं है। �कतनी भी ज�टल सम�या �य� न हो इसे �वांटम सपुरमेसी के ज�रए सॉ�व �कया जा सकता है। • आम कं�यटूस� �कसी सचूना को 0 और 1 म� �ोसेस करत ेह� इसे �ब�स कह सकत ेह�। सपुर कं�यटूस� एक सेकंड म� कई हजार ���लयन ऑपरेश�स को अजंाम देत ेह� जो आम कं�यटूर क� �मता से कह�ं �यादा है। जब�क �वांटम कं�यटूर �य�ूबट पर काम करत ेह�। ये सपुर कं�यटूर �क तलुना म� कई गुना �यादा तजे होत ेह�। कैसे करता है काम? • सामा�य कं�यटूर बाइनर� �स�टम पर काम करत ेह�। यानी ऐसे कं�यटूर म� हर तरह का डाटा 0 और 1 के छोटे टुकड़� म� आगे बढ़ता है। इस छोटे टुकड़ ेको �बट कहा जाता है। एक बार म� केवल एक �बट ह� आगे बढ़ता है। • वह�ं, �वांटम कं�यटूर म� 0 और 1 दोन� को साथ-साथ आगे बढ़ाया जा सकता है। �वांटम कं�यटूर म� डाटा के इस सबसे छोटे टुकड़ ेको �य�ूबट कहा जाता है। • एक साथ 0 और 1 को लेकर चलने क� �य�ूबट क� खबूी ह� �वांटम कं�यटूर क� ग�त को लाख� गुना बढ़ा देती है। • �फलहाल व�ैा�नक� ने जो �वांटम कं�यटूर बनाने का दावा �कया है, उसका �ोसेसर 54 �य�ूबट का है। �वांटम कं�यटूर का उपयोग : • नई दवाओ ंक� खोज म� �वांटम कं�यटूर का उपयोग �कया जा सकता है। • आ�ट��फ�शयल इंटे�लज�स (AI) आधा�रत टे�नोलॉजी को भी इसक� मदद से नई ऊंचाई �मलेगी। • इनक� सहायता से बेहद द� सोलर पनैल भी बनाए जा सक� गे। • �व�ीय लेनदेन म� भी इनक� तजेी का खासा फायदा हो सकेगा।

  • • एक अ�य �े� जहां �वांटम कं�यटूर क� �सं�करण �मता सा�बत हो सकती है, वह है मौसम का पवूा�नमुान। �न�कष� : • कं�यटूर व�ैा�नक� के सम� �वांटम कं�यटूर� को उपयोगी और सामा�य बनाने के �लए कुछ कठोर बाधाएँ ह�। • गूगल का �योग सपुरकंडि�टंग-आधा�रत �वांटम कं�य�ूटगं म� �ग�त का एक उ�कृ�ट उदाहरण है। सामा�य अ�ययन ��न प� 3 से संबं�धत : �व�ान और तकनीक : अगले तीन PSLV �मशन 14 छोटे �वदेशी उप�ह� को ले जाएंगे : �संग : • भारतीय अतं�र� अनसुंधान संगठन (ISRO) के अगले तीन PSLV (पोलर सटेैलाइट लॉ�च �ह�कल) चार अतंररा���य �ाहक� के कुल 14 छोटे उप�ह� को अतं�र� म� �था�पत करेगा। �ववरण : • इन उप�ह� को PSLV-C47 (जहाँ इसरो का काट�सटै -3 म�ुय पेलोड है), C48 & C-49 �वारा उनक� �न�द��ट क�ाओ ंम� भेजा जाएगा। • इसरो के 3 PSLV उड़ान� म� से ��येक पर प�ृवी अवलोकन उप�ह� म� से एक �ाथ�मक पेलोड के �प म� होगा। • अतं�र�यान को अगल� तीन PSLV उड़ान� म� मामलू� मा�य�मक या��य� के �प म� समायोिजत �कया जा रहा है। �वुीय उप�ह ��ेपण यान (PSLV) : • �वुीय उप�ह ��ेपण यान (PSLV) भारत क� तीसर� पीढ़� का ��ेपण यान है। यह पहला भारतीय �मोचक राकेट है जो �व चरण� से ससुि�जत है। • PSLV को �नचल� प�ृवी क�ीय उप�ह� को पोलर और सन �स�ंोनस क�ाओ ंम� ��ेपण के �लए �वक�सत �कया गया था। • अ� तबूर 1994 म� इसके �थम सफल लॉ�च के प� चात, जनू 2017 तक लगातार 39 सफल �मशन� के साथ PSLV भारत के �व� व�त एवं बहुमखुी �व� वसनीय लॉ�च राकेट के �प म� उभर कर आया है। • वष� 1994-2017 क� अव�ध के दौरान, राकेट ने 48 भारतीय उप�ह� एवं �वदेशी �ाहक� के �लए 209 उप�ह� का ��ेपण �कया। • इसके अ�त�र� त, राकेट ने सफलतापवू�क दो अतं�र�यान - वष� 2008 म� चं�यान-1 एवं वष� 2013 म� मंगल क��� अतं�र�यान का �मोचन �कया िज� ह�ने �मश: चं� और मंगल तक या�ा तय क�। PSLV और GSLV म� म�ुय अतंर :

  • • PSLV परुाना है जब�क GSLV नया सं�करण है। • GSLV क� वजन ले जाने क� �मता �यादा है जब�क PSLV क� कम है। • GSLV म� �ायोजे�नक रॉकेट इंजन लगा हुआ है जो �यादा जोर का ध�का देता है जब�क PSLV म� परंपरागत रॉकेट इंजन लगा हुआ है। • GSLV म� 3 ह� चरण ह� जब�क PSLV म� चार चरण ह�। • GSLV म� 4 �लि�वड ब�ूटर ह� जब�क PSLV म� 6 सॉ�लड ब�ूटर है । • GSLV के मकुाबले PSLV �यादा भरोसेमंद है। सामा�य अ�ययन ��न प� 3 से संबं�धत : पया�वरण और पा�रि�थ�तक� : �हम त�दएु क� गणना के �लए �थम रा� ��य �ोटोकॉल का आरंभ : NOTE : इस म�ुदे को 23 अ�टूबर 2019 के PIB �व�लेषण से पढ़े। सामा�य अ�ययन ��न प� 3 से संबं�धत : �व�ान और तकनीक : ��मांडीय धलू म� �छपी हुई �वशाल आकाशगंगा �मल� : �संग : • खगोल�वद� ने एक �वशाल आकाशगंगा क� खोज क� है, जो ��मांड म� मौजदू धलू के बीच �छपी हुई थी। �ववरण : • शोधकता�ओ ंने इस �वशाल आकाशगंगा क� खोज करने के �लए अटाकामा लाज� �मल�मीटर ऐरे या ALMA का उपयोग �कया, जो �चल� के ऊंचे पहाड़� म� ि�थत 66 रे�डयो दरूबीन� का एक सं�ह है। • यह आकाशगंगा एक बहुत �वशाल आकाशगंगा है, िजसम� �म�क� वे (मंदा�कनी) के �प म� कई �सतारे मौजदू ह�। • हालां�क, यह पाया गया है �क नई खोजी गई आकाशगंगा ग�त�व�ध के साथ कमज़ोर होती जा रह� है और �म�क� वे आकाशगंगा क� तलुना म� 100 गुना अ�धक दर से नए �सतारे बना रह� है। खोज का मह�व : • यह खोज ��मांड क� कुछ सबसे बड़ी आकाशगंगाओ ंके बारे म� नई अतं��ि�ट (गहर� पहँुच) �दान करती है। • यह उपलि�ध एक नई 'आकाशगंगा जनसं�या �कार' क� खोज के �लए दरवाजे खोल सकती है। • शोधकता�ओ ंका अनमुान है �क प�ृवी तक पहंुचने के �लए �स�नल को 12.5 �ब�लयन वष� लगे, जो उ�ह� ��मांड म� इसक� �ारं�भक अव�था के बारे म� जानकार� �दान करता है। सामा�य अ�ययन ��न प� 2 से संबं�धत : राज�यव�था और शासन : �या साव�ज�नक अ�धका�रय� पर ��तबंध क� ज�रत है : SC

  • �संग : • सव��च �यायालय क� एक सं�वधान पीठ ने जांच श�ु कर द� है �क �या ग�रमापणू� जीवन जीने के �लए नाग�रक के मौ�लक अ�धकार क� र�ा हेत ुमं��य� स�हत उ�च साव�ज�नक पदा�धका�रय� के �वतं� भाषण और अ�भ�यि�त के अ�धकार पर "अ�धक ��तबंध" लगाया जाना चा�हए। प�ृठभ�ूम : • सं�वधान पीठ का गठन अ�लै 2017 म� �कया गया था। • यह मामला बलुंदशहर बला�कार पी�ड़ता के प�रवार के सद�य� �वारा दायर एक या�चका के बाद से �काश म� आया था, जो उ�र �देश के मं�ी आजम खान के उन साव�ज�नक बयान� से नाराज थे िजनम� उ�ह�ने बला�कार के मामले को त�काल�न अ�खलेश यादव सरकार के �खलाफ एक राजनी�तक सािजश का �ह�सा बताया था। • आजम खान ने बाद म� सव��च �यायालय म� अपने बयान पर �बना शत� माफ� मांगी, ले�कन इसने संवेदनशील मामल� म� साव�ज�नक पदा�धका�रय� के �वतं� भाषण पर अकुंश लगाने के ��न को जाँच का �वषय बना �दया। �ववरण : • 'बोलने क� �वतं�ता' सं�वधान के अन�ुछेद 19 (2) के तहत साव�ज�नक �यव�था बनाए रखने के �लए "उ�चत ��तबंध�" के अधीन है। • सवाल यह है �क �या अन�ुछेद 19 (2) के तहत उ�चत ��तबंध� का �व�तार �कया जाना चा�हए या नह�ं। पद पर बने रहने क� ि�थ�त म� �या मं��य� पर अ�धक ��तबंध होना चा�हए, खासकर अगर ऐसी संभावना है �क मं�ी के बयान को जनता �वारा सरकार के साम�ूहक बयान के �प म� गलत समझा जा सकता है। ” • एक और सवाल यह है �क �या क� � और रा�य� म� मं��य� के �लए आचार सं�हता का होना अनमु�य या वांछनीय है। • अभी तक, अन�ुछेद 21 स�हत मौ�लक अ�धकार� के उ�लंघन के �लए केवल रा�य� को उ�रदायी ठहराया जा सकता है। • पीठ आगे क� जांच कर रह� है �क �या अन�ुछेद 21 का उ�लंघन करने के �लए �नजी �यि�तय� और �नगम� को उ�रदायी ठहराया जा सकता है। • स�ुीम कोट� ने 2017 म� पाया था �क इस मामले को एक बड़ी ब�च के पास �वचार के �लए भेजा जाना चा�हए �य��क सं�वधान के अन�ुछेद 19 (बोलने और अ�भ�यि�त क� �वतं�ता) अन�ुछेद 21 (जीवन और �यि�तगत �वतं�ता क� सरु�ा) क� �या�या के मह�वपणू� ��न इसम� शा�मल थे। भावी कदम : • अन�ुछेद 19 (2) �वारा उ�चत ��तबंध� का लगाया जाना इस बात का �माण है �क इस देश म� �वतं� भाषण �नरपे� नह�ं है। • अन�ुछेद 19 (2) म� �दए गए म�ुत भाषण के अपवाद प�रभा�षत और सट�क ह�।

  • • यह �प�ट है �क नए ��तबंध� को लाने के बजाय, अन�ुछेद 226 के तहत दल�ल दायर करने जसेै उपाय� पर �यान क� ��त �कया जाना चा�हए - यह एक एक संवधैा�नक �ावधान िजसके मा�यम से नाग�रक अपने मौ�लक अ�धकार� के उ�लंघन के �लए रा�य के �खलाफ उ�च �यायालय� का �ख कर सकत ेह� - �वशषे �प से मं��य� �वारा �दए गए शम�नाक बयान के �लए। • सवाल यह है �क �या �कसी वधैा�नक काननू के �बना ��तबंध लगाया जा सकता है। सामा�य अ�ययन ��न प� 2 से संबं�धत : सरकार क� नी�तयां : संपादक�य : �श�ा म� सधुार का उपाय : �संग : • सभी नाग�रक� के �लए अ�छ� �श�ा क� �यव�था करना ��येक सरकार का कत��य है। इस संदभ� म� भारत सरकार �श�ा क� बेहतर �यव�था के �लए समय-समय पर �यास भी करती रह� है, ले�कन उसे अपे��त सफलता हा�सल नह� ंहो पा रह� है। इस अकं म� हम उन �व�भ�न उपाय� पर चचा� कर�गे िजनके �वारा सभी के �लए अ�छ� �श�ा क� �यव�था क� जा सके। �व�लेषण : • इन �व�भ�न उपाय� म� जो सबसे मह�वपणू� है वो ये है �क सरकार� �कूल� को अनदुान देने का तर�का बदल �दया जाए। इससे अपे��त सफलता हा�सल क� जा सकती है। इसके तहत ��य� लाभ ह�तांतरण (DBT) के मा�यम से �कूल फ�स क� ��तप�ूत � क� धनरा�श को सीधे ब�च� के माता-�पता के ब�क खात ेम� �थानांत�रत �कया जा सकता है अथवा उ�हे� ‘वाउचर’ �दया जा सकता है। इससे ��येक ब�चे को वाउचर पर �लखी �नधा��रत फ�स लेने वाले तमाम �कूल� म� से अपने �लए सव��े�ठ �व�यालय चनुने का अवसर भी �मल सकेगा। इससे भारत के तमाम ब�च� का भ�व�य बदल सकता है। • मौजदूा समय म� सरकार� �ाथ�मक �कूल� म� ब�चे �टकत ेनह�ं है�। तमाम �कूल खाल� पड़ ेहुए ह�। एक आकंड़ ेके अनसुार वष� 2011-2017 के बीच सरकार� �कूल� म� होने वाले कुल दा�खल� म� 2.38 करोड़ क� �गरावट आई है, वह�ं �नजी �कूल� के कुल नामांकन म� 2.11 करोड़ छा�� क� व�ृ�ध हुई है। वाउचर फं�डगं से सधुर सकत ेह� खराब गुणव�ा वाले सरकार� �कूल : • अगर वाउचर फं�डगं श�ु हो जाए तो देश के खराब गुणव�ा वाले सरकार� �कूल और वहां के �श�क� क� भी जवाबदेह� बढ़ेगी, �य��क इन �कूल� और इनके �श�क� के वेतन को भी �कूल क� फं�डग से जोड़ा जाएगा। ब�च� के इन �कूल� म� दा�खला लेने पर ह� इन �कूल� क� फं�डगं �नभ�र हो जाएगी। ब�च� के पलायन के चलत ेसरकार� �कूल घाटे म� ह� : • ब�च� के पलायन के चलत ेअ�धकांश सरकार� �कूल श�ै�णक एवं आ�थ�क �प से अलाभकार� बन गए ह�। कुल सरकार� �कूल� म� से 41% (4,26,700) �कूल� म� छा�� क� सं�या 50 से भी कम है। • DBT के तहत सरकार हर ब�चे के अ�भभावक को एक �नधा��रत धनरा�श का वाउचर दे सकती है। य�द इस वाउचर क� रा�श 500 �पये ��त माह के �प म� �नधा��रत क� जाती है तो इसका मतलब है �क अ�भभावक अपने ब�चे को

  • �कसी भी ऐसे �कूल म� दा�खला �दला सकत ेह� जहां क� मा�सक फ�स 500 �पये तक है, ले�कन य�द कोई इससे अ�धक फ�स वाले �कूल म� अपने ब�चे को भेजना चाहता है तो बाक� के पसेै अपनी जेब से वहन कर सकता है। �वदेश� म� सफल रह� है वाउचर योजना : • �व�व के कई देश कोलं�बया, �चल�, नीदरल�ड, �यजूील�ड, अमे�रका आ�द म� �कूल वाउचर योजना को लागू कर बेहतर प�रणाम �ा�त कर चकेु ह�। यह� भारत को भी करना चा�हए। • �फलहाल अपने यहां सरकार� अनदुान सीधे �कूल को �मलता है, ले�कन वाउचर योजना के तहत यह पसैा अ�भभावक के मा�यम से ह� �कूल को �मलेगा। वाउचर योजना के तहत �कूल को ��त ब�चे के �हसाब से पसैा �मलेगा, जब�क मौजदूा �क�म म� ��येक सरकार� �व� पो�षत �कूल को एकम�ुत रा�श �मलती है। सकैड़� सरकार� �कूल� म� ब�च� क� सं�या म� भार� �गरावट के बावजदू उ�ह� परूा अनदुान �मलता रहता है। अ�भभावक� को �कूल चनुने का अ�धकार �मलेगा : • वाउचर योजना क� सबसे बड़ी खबूी यह है �क यह अ�भभावक� को �कूल चनुने का अ�धकार देती है। अगर वे �कूल क� गुणव�ा या वहां के माहौल से असंत�ुट ह� तो वे अपने ब�चे को उस �कूल से �नकाल कर दसूरे �कूल म� डाल सकत ेह�, िजससे उस �कूल को वाउचर से �मलने वाल� धनरा�श भी बंद हो जाएगी। • ऐसे म� एक ओर जहां �कूल� एवं �श�क� क� अ�भभावक� के ��त जवाबदेह� बढे

    ़गी तो दसूर� ओर �कूल� को इस

    वाउचर धनरा�श को �ा�त करने के �लए अ�धक से अ�धक ब�च� को अपने �कूल म� �वेश लेने के �लए आक�ष�त करने के �लए दसूरे �कूल� के साथ ��त�पधा� भी करनी पड़गेी। ऐसे म� ये �कूल अ�छे पर��ा प�रणाम देने के �लए भी �यासरत रह�गे। �कूल वाउचर योजना के तहत �श�ा म� समानता भी बढ़ सकती है। �श�ा म� DBT लागू करने को लेकर सरकार क� आप��यां : • �श�ा म� DBT लागू करने को लेकर सरकार क� दो म�ुय आप��यां ह�। पहल�, सरकार का मानना है �क �पछडे

    �ामीण इलाक� म� सरकार� वाउचर फं�डग के बावजदू �थानीय �श��त लोग �नजी �कूल नह�ं छोड़�गे। हालां�क यह डर बेब�ुनयाद है। • नेशनल सै�पल सव� के आकंड़� के अनसुार गैर सहायता �ा�त �नजी �ाथ�मक �कूल� क� औसत फ�स �ामीण इलाक� म� 292 �पये ��त माह और शहर� इलाक� म� 542 �पये ��त माह थी। इस सव� के मतुा�बक भारत के गैर सहायता �ा�त �कूल� म� पढ़ने वाले 25 ��तशत ब�च� ने 200 �पये ��त माह से कम फ�स भर� थी, 57 ��तशत ने 500 ��त माह से कम फ�स भर� थी, 82 ��तशत ने 1000 ��त माह से कम फ�स भर� थी और �सफ� 3.6 ��तशत ने 2,500 �पये ��त माह से अ�धक फ�स भर� थी। • इसका मतलब है �क 25 ��तशत �नजी �कूल 200 �पये ��त माह से कम फ�स ले रहे ह�, जो �क 500 �पये क�मत के वाउचर क� तलुना म� बेहद कम है। ऐसे म� �ामीण इलाक� के �कूल� एवं �श��त �यि�तय� के �लए इस योजना म� शा�मल होना फायदेमंद होगा। • मानव संसाधन �वकास मं�ालय क� DBT योजना को लेकर दसूर� शंका यह है �क इससे सरकार� �कूल खाल� हो सकत ेहै�। सरकार का मानना है �क िजन सरकार� �कूल� म� बेहद कम ब�चे ह�गे उ�ह� DBT के तहत बहुत कम पसैा �मल पाएगा और ऐसे म� वे अपने �श�क� क� तन�वाह भी नह�ं दे सक� गे। सम�याओ ंका समाधान :

  • • सरकार क� आप��यां भी वािजब ह� ले�कन व�त के साथ ये आप��यां ख�म हो जाएगी। उदाहरण के �लए जहां ब�चे कम और �श�क �यादा ह�, वहां जब कुछ �श�क �रटायर ह�गे तो उनक� जगह नई �नयिु�त नह�ं क� जाएगी। • दसूरा समाधान यह है �क सरकार� और �नजी �कूल� के �लए अलग-अलग क�मत के वाउचर �नधा��रत �कए जाएं, �य��क सरकार� �कूल� का ��त छा� खच� 2017-18 म� �ाथ�मक �तर पर 2,500 ��त माह और उ�चतर �ाइमर� �कूल� म� ��त माह 3,300 �पये का है, जो �क औसत �नजी �कूल� क� फ�स से कई गुना अ�धक है। �न�कष� : • यह सव��व�दत है �क क�ठन सम�याओ ंके समाधान के �लए साहसी कदम उठाने ह� पड़त ेह�। मौजदूा �यव�था म� �सफ� थोड़ा-बहुत हेरफेर करने से �कूल� �श�ा म� वां�छत सधुार नह�ं आने वाले। �श�ा क� सम�या का समाधान तभी संभव होगा जब �कूल और �श�क� क� जवाबदेह� तय क� जाएगी और इसके �लए DBT एक सश�त मा�यम है, जो �क देश भर के ब�च� के �लए एक तरह क� �कॉलर�शप का काम करेगी। मह�वपणू� त�य : 1. थोटलाक�डा बौ�ध मठ : • आ�ं �देश के �वशाखाप�नम म� ि�थत 2 ई.प.ू के थोटलाक�डा बौ�ध मठ �थल का म�ुय �तपू भार� बा�रश के कारण आ�ंशक �प से उखड़ गया है। • यह �वरासत �थल, जो सम�ु तल से लगभग 420 फ�ट ऊपर ि�थत है, एक �मखु पय�टक आकष�ण का क� � रहा है। • थोटलाक�डा बौ�ध प�रसर आ�ं �देश के �वशाखाप�नम म� ि�थत है। यह �व�भ�न �तपू�, �वहार� और च�ैय का �नवास �थान है। • इसक� खोज के बाद, �मखु उ�खनन आ�ं �देश रा�य परुात�व �वभाग �वारा �कया गया है। • उ�खनन से 2000 साल पहले उ�भव हुए ह�नयान (थेरवाद) बौ�ध प�रसर के अि�त�व का �माण �मलता है। • उ�खनन से सातवाहन वंश के नेत�ृव और �वदेशी �यापार का संकेत देने वाले रोमन चांद� के �स�क� का पता चलता है। इसके अ�त�र�त टेराकोटा टाइल�, �ला�टर के सजावट� टुकड़,े म�ूत�कला पनैल, प�थर म� लघ ु�तपू मॉडल और ब�ुध के परै� के �नशान भी पाए गए ह�। • उ�खनन से �ा�मी �ल�प म� �ल�खत बारह �शलालेख भी �मले ह�। • थोटलाक�डा क� ि�थ�त �ाचीन क�लगं के समय म� अ�छ� थी। यह �ीलंका और द��ण पवू� ए�शया के �व�भ�न �ह�स� म� बौ�ध धम� के �सार का एक मह�वपणू� �ोत था। • यह इं�डक सं�कृ�त, �वशषे �प से बौ�ध धम� के �ांसओश�नक �सार क� ���या म� एक अतं��ि�ट (गहर� पहँुच) �दान करता है। 2. रा���य म�हला आयोग :

  • • रा���य म�हला आयोग क� �थापना 1992 म� रा���य आयोग अ�ध�नयम, 1990 के तहत क� गई थी। • यह म�हलाओ ंके �लए संवधैा�नक और काननूी सरु�ा उपाय� क� समी�ा करने के �लए �था�पत भारत का एक सव��च रा���य �तर का संगठन है। • आयोग म� एक अ�य�, एक सद�य स�चव और अ�य पांच सद�य होत ेह�। • रा���य म�हला आयोग के बारे म� अ�धक जानकार� के �लए यहां ि�लक कर�। https://byjus.com/free-ias-prep/national-commission-women/ 3. गुट-�नरपे� �शखर स�मेलन के बारे म� जानकर� के �लए 23 अ�टूबर 2019 का PIB �व�लेषण पढ़�। 4. मडैागा�कर ल�मर : • ल�मर मडैागा�कर म� पाये जाने वाले छोटे वानर कुल के �ाणी ह�। यह ��ॅपसराइनी उपकुल के वानर ह� जो मडैागा�कर के मलू �नवासी ह�। • सभी ल�मर �जा�तयाँ �नवास �थान के नकुसान, वन� क� कटाई, मांस के �लए �शकार, अवधै पालत ू�यापार और अ�य कारक� के कारण खतरे म� है। • 111 �ात ल�मर �जा�तय� और उप-�जा�तय� म� से, कम से कम 105 अब �वल�ुत होने के कगार पर ह�। • व�ैा�नक� ने पता लगाया है �क मेडागा�कर के छोटे ल�मर, िजसे aye-aye भी कहा जाता है, क� एक �व�श�ट संरचना�मक संरचना होती है जो उनक� पांच अगंु�लय� के साथ चलने के �लए एक अ�त�र�त अगंूठे के �प म� काय� करती है। • �वशालकाय पांडा के पास भी एक आभासी अगंूठा होता है। 5. VT-NMD (नर�� मोद� देव��) �वमान : • जेट एयरवेज का पवू� कम�चार� और वत�मान �पाइसजेट पायलट ने 1998 म� पहल� बार �यास के बाद 6 सीटर �वमान �वक�सत �कया है। • VT-NMD (नर�� मोद� देव��) नामक यह भारत का पहला �ायो�गक �वमान होगा। • नाग�रक उ�डयन �नयामक, नागर �वमानन महा�नदेशालय (DGCA) से मंजरू� �मलने के बाद इसे उड़ने यो�य �मा�णत �कया जाएगा। • �वमान को पहल� बार 2016 म� 'मेक इन इं�डया स�ताह' म� �द�श�त �कया गया था। UPSC �ारं�भक पर��ा के �लए अ�यास ��न : ��न 1. �न�न�ल�खत म� से कौन सा ओजोन परत का �य करने वाला पदाथ� नह�ं है?

    https://byjus.com/free-ias-prep/national-commission-women/

  • (a) �लोरो�लोरोकाब�न (b) काब�न टे�ा�लोराइड (c) काब�न डाइऑ�साइड (d) �मथाइल �लोरोफॉम� उ�र : c �प�ट�करण : �व-�या�या�मक ��न 2. �न�न�ल�खत म� से कौन सा यनेू�को क� अमतू� सां�कृ�तक �वरासत (ICH) क� सचूी म� शा�मल नह�ं है / ह�: 1. ल�दाख का बौ�ध जप 2. राममन 3. अयो�या द�पो�सव 4. रामल�ला सह� �वक�प चनु� (a) केवल 1 और 3 (b) केवल 2 और 4 (c) केवल 3 (d) केवल 4 उ�र : c �प�ट�करण : �व-�या�या�मक ��न 3. �न�न�ल�खत को उ�र से द��ण क� तरफ �यवि�थत कर� । 1. चो ला पास 2. डोकलाम 3. नाथ ूला दरा� सह� �वक�प चनु�। (a) 2, 1, 3 (b) 1, 2, 3 (c) 1, 3, 2 (d) 2. 3, 1 उ�र : c �प�ट�करण : �व-�या�या�मक

  • UPSC म�ुय पर��ा के �लए अ�यास ��न : ��न 1. पद पर बने रहने क� ि�थ�त म� मं��य� पर अ�धक ��तबंध लगाने के �लए अन�ुछेद 19 (2) के तहत उ�चत ��तबंध� का �व�तार �कया जाना चा�हए? आलोचना�मक �ट�पणी कर�। (15 अकं, 250 श�द) ��न 2. PSLV भारत के �व�वसनीय और बहुमखुी वक� होस� ��ेपण वाहन के �प म� उभरा है। �प�ट कर�। (10 अकं, 150 श�द)

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