जीसस के शर#र तथा सभी म व#मान हे ... · 2019. 12....

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जीसस के शर#र तथा सभी म" !व#मान, हे सजीव अनंत !ाइ$ट, अपनी म"हमा क" यथाथ$ता म" , अपने !काश क" परम श"# म" , तथा अपने !ान क" सव#$ता म" !वयं को !कट कर#। Ñ!ी !ी परमहंस योगान&द !ी !ी !वामी िचदान&द िग#र का !"समस संदेश 2019 !"य आ"मन, आपको तथा !ी !ी परमहंस योगान&दजी के सम#त आ"या%&मक प"रवार एवं िम#$ को !"समस क" अनेक शुभकामनाएँ ! मेर$ !ाथ$ना है !क आप !ाइ$ट-!ेम क" शांितदायक, सामंज&य !दान करने वाली !योित का अनुभव कर# , जो इस आनंद क" ऋतु म" !विग%क जगत से !हणशील !दय$ म" असाधारण द"ि$ के साथ !""विलत होती है। अनंत कूट$थ चैत$य!" !ारा सृ#$ म" अिभ$य& एक#कृत !"ावान उ"े$यसभी !ा#णय&, रा#$, जाितय&, तथा धम#, !ज#ह% ई"र एक समान !ेम करते ह" , का एक प"रवार क" भाँित आिलं गन करता है। आइए हम यह !मरण करने के िलए समय िनकाल& !क इस माया जगत म" जो भी असमानताएँ हम# !वभा%जत करती हुई !तीत होती ह" , वे मा# सतह$ ह"। वह स"बंध जो हम सब, ई"र क" संतान& क" भाँित, एक दू सरे के साथ रखते ह" , अ"यिधक गहन है। पृ#वी पर शांित तथा सबके !ित स"ावके साव$भौिमक !"समस संदेश के !ारा हमारे !दय$ का पुनः उ"थान हो। जीसस ने अपने जीवन म" उसी समावेशी भावना तथा िनःशत& !ेम को अिभ$य& !कया; तथा यह हमम# से !"येक म" पुनः ज"म ले सकती है। जीसस !ाइ$ट अ"यंत अशांत समय म" अवत$रत हुए, तथा उ"ह$ने संसार के सम# यह िस# !कया !क !ेम, उदारता, !मा, तथा दया क" श"# घृणा क" !व#वंसकता से अ"यिधक महान,

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  • जीसस के शर#र तथा सभी म" !व#मान, हे सजीव अनंत बाइःट, अपनी म"हमा क" यथाथ$ता म", अपने ूकाश क" परम श"# म", तथा अपने !ान क" सव#$ता म" ःवय ंको ूकट कर#।

    Ñौी ौी परमहंस योगान&द

    ौी ौी ःवामी िचदान&द िग#र का !बसमस संदेश

    2019

    !ूय आ"मन,

    आपको तथा ौी ौी परमहंस योगान&दजी के समःत आ"या%&मक प"रवार एवं िमऽ$ को !बसमस क" अनेक शुभकामनाएँ! मेर$ ूाथ$ना है !क आप बाइःट-ूेम क" शांितदायक, सामंजःय ूदान करने वाली !योित का अनुभव कर#, जो इस आनंद क" ऋतु म" ःविग%क जगत स ेमहणशील !दय$ म" असाधारण द"ि$ के साथ ू""विलत होती है।

    अनंत कूटःथ चैत$य—ॄ" !ारा सृ#$ म" अिभ$य& एक#कृत ू"ावान उ"ेँय—सभी ूा#णय&, रा#$, जाितय&, तथा धम#, !ज#ह% ई"र एक समान ूेम करते ह", का एक प"रवार क" भाँित आिलगंन करता है। आइए हम यह ःमरण करने के िलए समय िनकाल& !क इस माया जगत म" जो भी असमानताएँ हम# !वभा%जत करती हुई ूतीत होती ह", वे माऽ सतह$ ह"। वह स"बंध जो हम सब, ई"र क" संतान& क" भाँित, एक दूसरे के साथ रखते ह", अ"यिधक गहन है। “पृ#वी पर शांित तथा सबक े ूित स"ाव” के साव$भौिमक !बसमस संदेश के !ारा हमारे !दय$ का पुनः उ"थान हो। जीसस ने अपने जीवन म" उसी समावेशी भावना तथा िनःशत& ूेम को अिभ$य& !कया; तथा यह हमम# स ेू"येक म" पुनः ज"म ल ेसकती है।

    जीसस बाइःट अ"यंत अशांत समय म" अवत$रत हुए, तथा उ"ह$ने संसार के सम# यह िस# !कया !क ूेम, उदारता, !मा, तथा दया क" श"# घृणा क" !व#वंसकता स ेअ"यिधक महान,

  • अ"यिधक ःथाई है। उनके उदाहरण स ेसाहस ूा# कर#, तथा यह अनुभव कर# !क ू"येक अ"छ े!वचार तथा कम# स,े आप भी इस संसार म" ई"र$य ूेम म" वृ#$ कर रहे ह"। “ई"र को अपने स"पूण& !दय, अपनी स"पूण& आ"मा, अपने स"पूण& मन, तथा अपनी स"पूण& श"# स ेूेम कर#; तथा अपने पड़ोिसय' को उसी ूकार स ेूेम कर# जैस ेआप ःवयं को करते ह",” इस धमा$देश—!जस पर जीसस ने अ"यिधक बल !दया—के अनुसार जब हम अिधक स ेअिधक जीने का ूय# करते ह", हमारे पूण$ अ"ःत%व म" एक आ"य$जनक मु#$दायक, तथा चेतना को !वःतृत करने वाला !पांतरण होने लगता है।

    आ"या%&मक चेतना के ूेम एवं ूकाश स ेअपने !दय$ तथा कम# को कैसे अनुूा&णत कर#? एक माग$ है !क, !वशेष !प स े !बसमस के समय, गहनतापूण) तथा ल"बी अविधय& के ई"र$य समागम हेतु समय िनकाल&। म" आपस ेयोगदा स"संग आौम$/क"ि$/मंडिलय' !ारा आयो$जत पूण$-!दवसीय !बसमस !यान म" स"#मिलत होने—अथवा ःवयं आपके अपने घर म" करने—का आमह करता हँू। आंत$रक शांित के मं#दर म" जब हम समःत ूेम के ॐोत का ःपश$ करते ह", हम अपने गु#देव के इन श"द$ म" िन#हत स"य का अनुभव करते ह" : “प"वऽता, शांित, ःव#नातीत सुख, आपक$ आ"मा म" जगमगा रहे ह" एवं नृ#य कर रहे ह"। उस आंत$रक शांित का वा# पारलौ&कक, अनंत शांित स ेस"#मलन होने द$। आप उस शा#त ूकाश म" िनम$%जत ह"। आपका स"पूण& अ"ःत%व बाइःट क" उस सव#$यापी प"वऽ आभा स े!या$ है। शर#र तथा !ास स ेपरे, आप बाइःट शांित तथा आनंद का वह शा#त ूकाश ह"।”

    इस !बसमस के अवसर पर, सव"#यापी बाइःट का ूेम और शांित आपके जीवन म" !या$ हो, एवं आपको, आपके !ूयजन& को, तथा उन सब को !जनक ेिलए आप ूाथ$ना करते ह", उनका आशीष ूा# हो।

    !द#य मैऽी म"

    ःवामी िचदान&द िग#र